Cannes Film Festival 2024: 1976 में रिलीज हुई भारतीय फिल्म 'Manthan' की स्क्रीनिंग में पहुंचे नसीरुद्दीन शाह, प्रतीक बब्बर सहित कई भारतीय कलाकार
साल 2024 में कान्स फिल्म फेस्टिवल 14 मई से शुरू हो गया है और 25 मई तक चलने वाला है। इस बार इस कार्यक्रम में कई भारतीय फिल्मों की स्क्रीनिंग होने वाली है, जिसमें दिवंगत अभिनेत्री स्मिता पाटिल की 'मंथन' भी शामिल है, जो 17 मई को प्रदर्शित हुई थी।
साल 2024 में कान्स फिल्म फेस्टिवल 14 मई से शुरू हो गया है और 25 मई तक चलने वाला है। इस बार इस कार्यक्रम में कई भारतीय फिल्मों की स्क्रीनिंग होने वाली है, जिसमें दिवंगत अभिनेत्री स्मिता पाटिल की 'मंथन' भी शामिल है, जो 17 मई को प्रदर्शित हुई थी। इस स्क्रीनिंग में शामिल होने के लिए दिग्गज अभिनेता नसीरुद्दीन शाह, रत्ना पाठक, उनके छोटे बेटे प्रतीक बब्बर और कई अन्य लोग कान्स फिल्म फेस्टिवल में 'मंथन' की स्क्रीनिंग के दौरान रेड कार्पेट पर नजर आए। #ShyamBenegal’s #Manthan is still so inspiring. Never give up the good fight. The 4K restored print shown @Festival_Cannes was beautiful. Thnx @FHF_Official. On 1/6 this print will be shown in 70+ cities in India. Also there was a standing ovation at Cannes for #NaseeruddinShah. pic.twitter.com/Y4rR1pnrWK
मंथन 1976 में रिलीज़ हुई थी
श्याम बेनेगल द्वारा निर्देशित 1976 की क्लासिक फिल्म 'मंथन' को 17 मई को सैले बुनुएल में एक प्रतिष्ठित कार्यक्रम में प्रदर्शित किया गया था। यह इस साल कान्स फिल्म फेस्टिवल के क्लासिक सेक्शन के तहत चुनी जाने वाली एकमात्र भारतीय फिल्म है। अमूल इंडिया ने इसकी तस्वीरें अपने इंस्टाग्राम पर शेयर की हैं। जिसमें एक्टर नसीरुद्दीन शाह समेत कई लोग रेड कार्पेट पर नजर आ रहे हैं। आपको बता दें कि इस फिल्म में स्मिता पाटिल के अलावा नसीरुद्दीन शाह, गिरीश कर्नाड, मोहन अगाशे, कुलभूषण खरबंदा, अनंत नाग और अमरीश पुरी भी मुख्य भूमिका में नजर आये थे।
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फिल्म पूरी तरह से क्राउड-फंडेड थी
आपको बता दें कि यह फिल्म भारत में श्वेत क्रांति के जनक डॉ. वर्गीज कुरियन के दुग्ध सहकारी आंदोलन पर आधारित है। गुजरात-सेट फिल्म पहली क्राउडफंडेड भारतीय फिल्म थी, जिसे पूरी तरह से 500,000 किसानों द्वारा क्राउडफंड किया गया था, जिन्होंने प्रत्येक को 2 रुपये का दान दिया था। फिल्म की स्क्रिप्ट विजय तेंदुलकर ने डॉ. वर्गीस कुरियन के साथ मिलकर तैयार की थी।
फिल्म ने राष्ट्रीय पुरस्कार जीते
मंथन ने वर्ष 1977 में दो राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार जीते। पहला हिंदी में सर्वश्रेष्ठ फीचर फिल्म के लिए और दूसरा तेंदुलकर द्वारा सर्वश्रेष्ठ पटकथा के लिए। इतना ही नहीं, यह 1976 के अकादमी पुरस्कारों के लिए सर्वश्रेष्ठ विदेशी भाषा फिल्म श्रेणी में भारत की आधिकारिक प्रविष्टि भी थी।