मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड हो जाएगा खत्म? वक्फ बिल पेश होते ही मुसलमानों ने बताया क्या करेंगे देश का हाल

वक्फ और सरकार के बीच जो भी विवादित जमीन है चाहे वो राज्य की सरकार हो या केंद्र की मोदी सरकार वो संपत्ति छिन जाएगी। डर इस बात का है कि जिस तरह से सरकार तुष्टीकरण के लिए मुस्लिम सुधार से जुड़े कानूनों की होती अनदेखी से इतर अब नए लॉ बना रही है।
संसद जहां से देश को बहुत कुछ हासिल होता है। जहां कानून बनाए जाते हैं। लेकिन कुछ ग्रुप्स होते हैं जो सरकार पर दबाव बनाने की कोशिश करते हैं। अपने जनप्रतिनिधि के माध्यम से संख्या के आधार पर कौन से कानून बनेंगे, किस कानून में संधोखन किए जाएंगे और कौन से कानून खत्म किए जाएंगे। लेकिन इन ग्रुप्स या धड़ों को अब समझ नहीं आ रहा है कि उनका टाइम अब चला गया है। इससे पहले जब कांग्रेस की सरकार रही तो वक्फ बोर्ड एक्ट, प्लेसेज ऑफ वर्शिप एक्ट जैसे कानूनों को लाया गया। यूसीसी को नहीं लाया जा सका क्योंकि मुस्लिम संगठनों का सरकार पर दबाव बना रहा। देश में ज्यादातर समय तक शासन करने वाली कांग्रेस इस दबाव को झेलती रही। इतिहास में शाह बानो प्रकरण में सुप्रीम कोर्ट के फैसलो को पलटने जैसे कदम भी देखने को मिले हैं। तीन तलाक पर बैन लगाने के लिए इतने सालों से चर्चा होती रही। लेकिन कभी भी किसी भी राजनीतिक दल की इसमें सुधार की कोई कोशिश की ही नहीं गई। अब स्थितियां बदल चुकी है। लेकिन मुस्लिम संगठन इस बात को समझ नहीं पा रहे हैं। इस बार सबसे ज्यादा हाय-तौबा ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड की तरफ से किया जा रहा है। वक्फ बिल के आने से उन्हें डर सता रहा है।
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वक्फ और सरकार के बीच जो भी विवादित जमीन है चाहे वो राज्य की सरकार हो या केंद्र की मोदी सरकार वो संपत्ति छिन जाएगी। डर इस बात का है कि जिस तरह से सरकार तुष्टीकरण के लिए मुस्लिम सुधार से जुड़े कानूनों की होती अनदेखी से इतर अब नए लॉ बना रही है। वक्फ संशोधन विधेयक लोकसभा में पेश किया गया है। यूसीसी अलग अलग राज्यों में पारित कराया जा रहा है। फिर इसके संसद में आने की चर्चा भी तेज हो चली है। ऐसे में जब यूसीसी लागू हो जाएगा तो पर्सनल लॉ का क्या ही अर्थ रह जाएगा। मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड की जरूरत भला क्या रह जाएगी। सड़क पर इस वक्त सबसे ज्यादा प्रदर्शन करने वालों में ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ही नजर आ रहा है।
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आलम तो ये हो गया कि जिस वक्त लोकसभा में संसदीय कार्यमंत्री किरेन रिजिजू वक्फ संशोधन बिल पेश कर रहे थे तो ठीक उसी वक्त ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड धमकी दे रहा था। किरेन रिजिजू ने कहा कि वक्फ बोर्ड के पास लाखों एकड़ की जमीन है। देश के गरीब मुसलमानों के लिए इसका इस्तेमाल क्यों न किया जा रहा है। किरेन रिजिजू ने बताया कि वक्फ बोर्ड आज देशभर में 8 लाख 70 हजार संपत्तियों को नियंत्रित करता है। इनकी अनुमानित कीमत 1 लाख 20 हजार करोड़ रुपए है। दुनिया में सबसे ज्यादा वक्फ संपत्ति भारत में है। वक्फ बोर्ड के ऐसे राज सुनकर ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड भड़क गया। उसने वही झूठ बोलना शुरू कर दिया जो वक्फ संशोधन बिल लाने से पहले मुस्लिम मोहसल्ले में फैलाया जा रहा था। झूठ ये कि सरकार मुसलमानों से कब्रिस्तान और मस्जिदें छीनने की कोशिश कर रही है। इसी तरह के झूठ फैलाने के बाद मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने धमकी देते हुए कहा है कि हम कुछ बर्दाश्त नहीं करेंगे। हम देशभर में प्रदर्शन करेंगे।
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