किसानों से बोले कृषि मंत्री तोमर, भीड़ एकत्र करने से कानून नहीं बदलते, बताएं इन कानूनों में क्या है खिलाफ ?

Narendra Singh Tomar

कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा, ‘‘केन्द्र सरकार ने संवेदनशीलता के साथ किसान संगठनों से 12 दौर की बातचीत की है, लेकिन बातचीत का निर्णय तब होता है, जब आपत्ति बताई जाए।’’

ग्वालियर। केन्द्र सरकार के तीन नये कृषि कानूनों के खिलाफ दिल्ली की सीमा पर लंबे समय से चल रहे किसान आंदोलन के बीच केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने रविवार को कहा कि भीड़ एकत्र करने से कानून नहीं बदलते। उन्होंने कहा कि किसान यूनियन बताएं कि इन कानूनों में किसानों के खिलाफ क्या है और सरकार उसमें संशोधन करने को तैयार है। तोमर ने ग्वालियर में संवाददाताओं से कहा, ‘‘केन्द्र सरकार ने संवेदनशीलता के साथ किसान संगठनों से 12 दौर की बातचीत की है, लेकिन बातचीत का निर्णय तब होता है, जब आपत्ति बताई जाए।’’ 

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उन्होंने कहा, ‘‘ सीधा कहोगे कानून हटा दो। ऐसा नहीं होता है कि कोई भीड़ इकट्ठा हो जाए और कानून हट जाये।’’ कृषि मंत्री ने कहा, ‘‘किसान संगठन बताएं कि इन नए कानूनों में किसान के खिलाफ क्या है? लेकिन भीड़ एकत्र करने से कानून नहीं बदलता है।’’ तोमर ने कहा कि किसान संगठन यह तो बताएं कि आखिर कौन से प्रावधान हैं जो किसानों के खिलाफ हैं? इसे सरकार समझने को तैयार है और संशोधन करने के लिए तैयार है। उन्होंने कहा कि किसान के हितों के मुद्दे पर सरकार आज भी संशोधन करने को तैयार है और इस बारे में तो स्वयं प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी भी कह चुके हैं।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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