मध्य प्रदेश में मिलावटखोरों की खैर नहीं, 87 पर अपराधिक प्रकरण दर्ज और 15 पर रासुका की कार्यवाही
खाद्य एवं औषधि प्रशासन द्वारा जिले के सभी जांच दलों के अधिकारियों को अभियान में और तेजी लाने के लिये कहा गया है। खाद्य पदार्थों में मिलावट करने वालों के विरुद्ध सख्ती के साथ कार्यवाही करते हुए अभियान लगातार जारी है।
भोपाल। मध्य प्रदेश की शिवराज सरकार द्वारा मिलावट से मुक्ति अभियान में खाद्यान्न सामग्री में मिलावट करने वाले मिलावटखोरों के विरुद्ध सख्त कार्यवाही की जा रही है। अब तक खाद्य पदार्थों में मिलावट का कारोबार करने वाले 87 मिलावटखोरों के विरुद्ध अपराधिक प्रकरण दर्ज कराये गये हैं और 15 मिलावटखोरों पर रासुका के तहत कार्यवाही की गई।वही खाद्य पदार्थों में मिलावट का कारोबार करने वाले 25 खाद्य प्रतिष्ठानों को सील किया गया है और 5 खाद्य प्रतिष्ठानों को तोड़कर नष्ट किया गया है।
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जनसंपर्क अधिकारी महेश दुबे ने मंगलवार को जानकारी देते हुए बताया कि इस अभियान के दौरान खाद्य सामग्री में मिलावट पाये जाने पर अनुमानित 5 करोड़ 24 लाख 25 हजार मूल्य की खाद्यान्न सामग्री को जब्त किया गया है। खाद्यान्न सामग्री का कारोबार करने वाले 21 मिलावटखोरों के लायसेंस निबंलित किए गये हैं। मिलावट करने वालों पर 2 करोड़ 60 लाख 45 हजार 500 रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है।
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उन्होंने बताया कि अभियान के तहत अब तक जांच दलों द्वारा 14 हजार 220 स्थानों पर निरीक्षण किया गया है। जांच के लिये 5719 खाद्य नमूनों लिये गये है। राज्य खाद्य प्रयोगशाला द्वारा 2968 नमूनों की जाँच रिपोर्ट जारी की गई। इनमें 668 नमूने अमानक स्तर के पाये गये, जिन पर कार्यवाही की गई। इसके अतिरिक्त चलित प्रयोगशाला के माध्यम से 16 हजार 724 और मैजिक बॉक्स के माध्यम से 23 हजार नमूनें लिये गये। खाद्य एवं औषधि प्रशासन द्वारा जिले के सभी जांच दलों के अधिकारियों को अभियान में और तेजी लाने के लिये कहा गया है। खाद्य पदार्थों में मिलावट करने वालों के विरुद्ध सख्ती के साथ कार्यवाही करते हुए अभियान लगातार जारी है।
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