ममता ने PM मोदी को पत्र लिखकर लॉकडाउन के आकलन के लिए केंद्रीय दल भेजने पर जताई आपत्ति
महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, पश्चिम बंगाल और राजस्थान को रविवार को जारी एक समान आदेशों में केंद्रीय गृह मंत्रालय ने कहा कि अग्रिम मोर्चे पर काम कर रहे स्वास्थ्य कर्मियों पर हिंसा, सामाजिक दूरी बनाने के नियमों की अवहेलना तथा शहरी क्षेत्रों में वाहनों की आवाजाही के कई मामले देखे गए हैं।
कोलकाता। लॉकडाउन के कार्यान्वयन और कुछ क्षेत्रों में उल्लंघन की खबरों का आकलन करने के लिए केंद्र सरकार द्वारा पश्चिम बंगाल में दल भेजने पर आपत्ति जताते हुए राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सोमवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्रलिखकर कहा कि इस तरह का कदम एकपक्षीय और अनपेक्षित है। बनर्जी ने कहा कि दो अंतर-मंत्रालयीन केंद्रीय दलों ने राज्य सरकार से संपर्क नहीं किया है जिनके पहुंचने पर उनके ठहरने और साजो-सामान संबंधी अन्य व्यवस्था राज्य सरकार को करनी थी। केंद्र सरकार ने कहा है कि मुंबई, पुणे, इंदौर, जयपुर, कोलकाता और पश्चिम बंगाल के कुछ अन्य स्थानों पर कोविड-19 को लेकर हालात ‘खासतौर पर गंभीर’ हैं और लॉकडाउन के नियमों का उल्लंघन करने से नोवेल कोरोना वायरस और फैल सकता है।
महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, पश्चिम बंगाल और राजस्थान को रविवार को जारी एक समान आदेशों में केंद्रीय गृह मंत्रालय ने कहा कि अग्रिम मोर्चे पर काम कर रहे स्वास्थ्य कर्मियों पर हिंसा, सामाजिक दूरी बनाने के नियमों की अवहेलना तथा शहरी क्षेत्रों में वाहनों की आवाजाही के कई मामले देखे गए हैं। एक केंद्रीय दल सोमवार को यहां पहुंचा वहीं दूसरा जलपाईगुड़ी पहुंचा। बनर्जी ने कहा कि केंद्र सरकार ने किस आधार पर इन दलों को भेजा है, यह अस्पष्ट है। उन्होंने कहा, ‘‘हम इस पर आगे नहीं बढ़ सकेंगे क्योंकि बिना वैध कारणों के यह संघवाद की भावना के अनुरूप नहीं हो सकता।’’ बनर्जी ने प्रधानमंत्री को लिखे पत्र में कहा,‘‘मुझे विश्वास है कि आप इस बात से सहमत होंगे कि केंद्र सरकार की ओर से इस तरह की एकपक्षीय कार्रवाई कदापि अपेक्षित नहीं है, खासतौर पर उस समय बिल्कुल नहीं जब केंद्र और राज्य सरकारें दोनों कोविड-19 के संकट से निपटने के लिए 24 घंटे मिलकर अथक काम कर रही हैं।
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