Nainital Fire: नैनीताल के जंगल में लगी आग हुई विकराल, नैनीताल में हाईकोर्ट कॉलोनी के पास तक पहुंची लपटें
यहां वन विभाग द्वारा जारी दैनिक बुलेटिन के अनुसार, प्रदेश में पिछले 24 घंटे में वन में आग लगने की 26 घटनाएं कुमाउं क्षेत्र में, जबकि पांच घटनाएं गढ़वाल क्षेत्र में हुईं जिनमें 33.34 हैक्टेयर वन क्षेत्र प्रभावित हुआ। इन घटनाओं में 39,440 रुपये की आर्थिक क्षति होने का आकलन किया गया है।
उत्तराखंड के नैनीताल के जंगलों में लगी आग अब बेकाबू हो गई है। गर्मी बढ़ने के साथ ही उत्तराखंड के नैनिताल स्थित जंगल में आग लग गई है। ये आग विकराल रूप धारण करती जा रही है। अब सेना ने इस आग को बूझाने के लिए मोर्चा संभाला हुआ है। इस आग को बुझाने के लिए हेलीकॉप्टर की मदद ली जा रही है।
गर्मी बढ़ने के साथ ही उत्तराखंड के कई जंगलों में आग लगने लगी है। इसी बीच नैनीताल की हाईकोर्ट कॉलोनी तक भी आग की लपटें पहुंचे लगी है। रूद्रप्रयाग जिले के जंगल में आग लगाते तीन व्यक्तियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया। गौरतलब है कि उत्तराखंड में बीते 24 घंटों में विभिन्न स्थानों पर जंगलों में आग लगने की 31 नई घटनाएं सामने आ चुकी है। इन घटनाओं में अबतक 33.34 हेक्टेयर वन क्षेत्र आग की चपेट में आकर प्रभावित हुआ।
दावानल यानी जंगल की आग के बढ़ते कहर के बीच मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अधिकारियों को अलर्ट रहने के निर्देश जारी किए है। साथ ही सभी विभागों को सामन्जस्य बैठाकर दावानल की रोकथाम के उपाय करने को कहा है। नैनीताल जिला मुख्यालय के पास के जंगलों में लगी आग ने भीषण रूप ले लिया। आग से पाइन्स क्षेत्र में स्थित हाईकोर्ट कॉलोनी को भी खतरा पैदा हो गया है जबकि क्षेत्र में यातायात भी प्रभावित हुआ है।
वन विभाग के कर्मचारियों के साथ ही सेना के जवान भी आग पर नियंत्रण पाने में लगे हुए हैं और आग बुझाने के लिए हेलीकॉप्टर की मदद लेने का प्रयास भी किया जा रहा है। क्षेत्र के निवासी और सहायक रजिस्ट्रार अनिल जोशी ने कहा, ‘‘ पाइन्स के पास स्थित एक पुराने और खाली घर को आग ने अपनी चपेट में ले लिया है। इससे हाई कोर्ट कॉलोनी को कोई नुकसान नहीं हुआ है लेकिन यह खतरनाक रूप से भवनों के नजदीक तक पहुंच गयी है। शाम से ही आग पर काबू पाने के प्रयास किए जा रहे हैं।’’ पाइन्स के पास ही स्थित भारतीय सेना के संवेदनशील क्षेत्र तक आग के पहुंचने की आशंका को देखते हुए आग को जल्द से जल्द बुझाने के प्रयास किए जा रहे हैं।
जिला प्रशासन ने स्थिति को देखते हुए फिलहाल नैनी झील में नौकायन पर रोक लगा दी है जबकि आग बुझाने के लिए हेलीकॉप्टर की मदद लेने के प्रयास भी किए जा रहे हैं। नैनीताल के प्रभागीय वन अधिकारी चंद्रशेखर जोशी ने बताया, ‘‘आग को बुझाने के लिए हमने मनोरा रेंज के 40 कार्मिक तथा दो वन रेंजरों की तैनाती की है।’’ यहां वन विभाग द्वारा जारी दैनिक बुलेटिन के अनुसार, प्रदेश में पिछले 24 घंटे में वन में आग लगने की 26 घटनाएं कुमाउं क्षेत्र में, जबकि पांच घटनाएं गढ़वाल क्षेत्र में हुईं जिनमें 33.34 हैक्टेयर वन क्षेत्र प्रभावित हुआ। इन घटनाओं में 39,440 रुपये की आर्थिक क्षति होने का आकलन किया गया है। पिछले साल एक नवंबर से अब तक प्रदेश में वन में आग लगने की कुल 575 घटनाएं सामने आयी हैं जिनमें 689.89 हेक्टेयर वन क्षेत्र प्रभावित हुआ और 14,41,771 रुपये का आर्थिक नुकसान हुआ।
उधर, रूद्रप्रयाग के जखोली में दो अलग-अलग वन क्षेत्रों में कथित रूप से आग लगाते हुए तीन व्यक्तियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया। रूद्रप्रयाग के प्रभागीय वनाधिकारी अभिमन्यु ने एक प्रेस विज्ञप्ति में बताया कि वनों में आग को रोकने के लिए गठित सुरक्षा दल द्वारा यह कार्रवाई की गयी। उन्होंने बताया कि जखोली के तड़ियाल गांव के भेड़पालक नरेश भट्ट को जंगल में आग लगाते हुए से मौके से पकड़ा गया। पूछताछ में आरोपी ने बताया कि बकरियों को चराने के लिए नयी घास उगाने हेतु उसने जंगल में आग लगायी।
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