11 साल में केंद्र सरकार ने दिल्ली की विकास परियोजनाओं पर खर्च किए 5.5 लाख करोड़ से अधिक रूपये: वीरेन्द्र सचदेवा

Virendra Sachdeva
प्रतिरूप फोटो
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सचदेवा ने कहा कि 11 साल में केन्द्र सरकार ने बजट या अन्य विशेष योजनाओं के माध्यम से 5.5 लाख करोड़ रूपये से अधिक दिल्ली की विकास परियोजनाओं या प्रशासनिक खर्चों पर खर्च किये हैं जो शायद इस अवधि के दिल्ली सरकार के कुल बजट से भी अधिक होगा।

नई दिल्ली। दिल्ली भाजपा अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा एवं भाजपा सांसद प्रवीन खंडेलवाल ने आज एक पत्रकार सम्मेलन में भारत सरकार के बजट 2024-25 का स्वागत करते हुए कहा कि यह बजट भारत के हर वर्ग चाहे वह युवा हो, महिला हो, या फिर किसान या व्यपारी हो सबके हित में है। 

सचदेवा ने कहा की बजट में सबके लिए बहुत कुछ है और रोजगार का सृजन करने वाला बजट है लेकिन दिल्ली की मंत्री का हमेशा से रोना है की केन्द्र सरकार ने दिल्ली के लिए कुछ नहीं दिया और यह एक झूठी बयानबाजी है। गत 11 साल में केन्द्र सरकार ने बजट या अन्य विशेष योजनाओं के माध्यम से 5.5 लाख करोड़ रूपये से अधिक दिल्ली की विकास परियोजनाओं या प्रशासनिक खर्चों पर खर्च किये हैं जो शायद इस अवधि के दिल्ली सरकार के कुल बजट से भी अधिक होगा।

प्रेसवार्ता का संचालन कर रहे मीडिया प्रमुख प्रवीण शंकर कपूर ने कहा कि आज देश में एक विकासशील प्रतापी सरकार है पर दिल्ली में एक विकासहीन विलापी सरकार है। यह विलाप करना उनका एक प्रोपगेंडा करने का तरीका है और इसे दिल्ली की जनता समझ चुकी है। प्रेसवार्ता में मीडिया रिलेशन प्रमुख विक्रम मित्तल उपस्थित थे। 

वीरेन्द्र सचदेवा ने कहा कि कल दिल्ली की मंत्री आतिशी मार्लेना का बयान आया कि मोदी सरकार के बजट में दिल्ली के लिए जीरो है लेकिन उन्होंने यह नहीं बताया कि दिल्ली के लिए हजारों करोड़ रुपए विभिन्न मदों में आवंटित किये गये है। 

उन्होंने कहा कि दिल्ली सरकार को अनुदान के रुप में सहायता राशि 1168 करोड़ रुपए दी गई है। साथ ही दिल्ली पुलिस के लिए 11177.5 करोड़ रुपए और पेंशन के लिए 4801.35 करोड़ रुपए और केन्द्र सरकार द्वारा विभिन्न योजनाओं के लिए 30000 करोड़ रुपए से अधिक दिए गए हैं।

सचदेवा ने कहा कि केजरीवाल नगर निगम सत्ता में झूठे वायदे करके आए थे कि वे कूड़े का पहाड़ 2023 तक खत्म कर देंगे लेकिन आज भी कूड़े के पहाड़ को खत्म कर देंगे लेकिन अभी तक कूड़े का पहाड़ खत्म नहीं हुआ। केन्द्र सरकार के बजट में दिल्ली सरकार को 1145 करोड़ रुपए एम.सी.डी. को पहाड़ों को खत्म करने के लिए दिए गए हैं। उन्होंने कहा कि सुआतिशी ने आरोप लगाया कि केन्द्र सरकार ने स्वास्थ्य बजट कम कर दिया है लेकिन इस बार के स्वास्थ्य बजट में 12.59 फीसदी की बढ़ोत्तरी कर 80517 करोड़ से 90658 करोड़ कर दी गई है। इसी तरह एम्स सहित केन्द्र सरकार के दिल्ली स्थित सभी अस्पतालों के इस वर्ष के बजट में 10% के आसपास की वृद्धि की गई है।

दिल्ली भाजपा अध्यक्ष ने कहा कि दिल्ली मेट्रो जिसमें प्रति दिन 63 लाख लोग यात्रा करते हैं उसके ऊपर भारत सरकार 53000 करोड़ रुपए व्यय कर चुकी है जबकि डीटीसी में मात्र 25 लख लोग प्रति दिन यात्रा करते हैं। 

उन्होंने कहा कि जाममुक्त दिल्ली बनाने के लिए केन्द्र सरकार ने 30,000 करोड़ रुपए के परिवहन विभाग में खर्च किए हैं और इसके अलावा 35000 करोड़ रुपए वर्किंग प्रोसेस में है लेकिन आतिशी को सिर्फ झूठ बोलना है।

सचदेवा ने कहा केन्द्र सरकार ने दिल्ली एन.सी.आर. में गृह निर्माण में भारी निवेश किया है पर खेदपूर्ण है की पी.एम.आवास योजना दिल्ली में केजरीवाल सरकार द्वारा लागू ना किए जाने से दिल्ली के गरीबों तक इसका लाभ नही पहुंचेगा।

दिल्ली सरकार ने इसी तरह गरीबों के लिए संजीवनी जैसी आयुष्मान योजना दिल्ली में लागू नहीं की है जिसपर सुआतिशी या उनके कोई भी मंत्री इस पर क्यों नहीं बोला। 

उन्होंने कहा कि दिल्ली से देहरादून तक 212 किलोमीटर तक का काम चल रहा है जिसकी लागत 12000 करोड़ रुपये है और 1382 किलोमीटर का एक्सप्रेस वे एक लाख करोड़ रुपए की लागत से बनाना शुरू हो गया है। 

सांसद प्रवीण खंडेलवाल ने कहा कि मैं नहीं समझ पा रहा कि किन परिस्थितियों में आतिशी कहती हैं कि दिल्ली को बजट में कुछ नही मिला ? यह बजट सर्वहितकारी है इसका लाभ समाज के हर वर्ग को मिलेगा।

खंडेलवाल ने कहा की पहली बार ऐसा हुआ कि एक बजट का फोकस चारों बड़े तत्वों - रोजगार, एम.एस.एम.ई., महिला और युवा पर है जिसका पूरा लाभ दिल्ली वासियों को भी मिलेगा।

सांसद खंडेलवाल ने कहा की मुश्किल यह है की केजरीवाल सरकार केन्द्र की योजनाओं को दिल्ली में लागू ना करके  उनके लाभ से दिल्ली की महिलाओं एवं युवाओं को वंचित करती है।

इस बजट का बेसिक मूल भारत को 2047 तक विकसित भारत तक लेकर जाना है, पहली बार इतिहास में एम.एस.एम.ई. सेक्टर्स को इतना महत्व इसमें दिया गया है, इसमें छोटे से लेकर बड़े व्यापारी सभी को एम.एस.एम.ई. की श्रेणी में देखा गया है और इनके लिए इन्फ्रास्ट्रक्चर डेवलेपमेंट और रोजगार, युवा और स्किलिंग पर फोकस किया गया है।

खंडेलवाल ने कहा कि जिस युवा में जितनी शक्ति या सम्भावना है उसे साकार करने का काम यह बजट करेगा। मुद्रा योजना जिसका लाभ छोटे व्यापारी लंबे समय से उठा रहे थे उसके बाद 20 लाख से ज्यादा का लोन व्यापारियों को मिल चुका है इसकी राशि 10 लाख हुआ करती थी उसे बढ़ा कर 20 लाख कर दिया गया। 

इस बजट में महिलाओं के लिए भी काफी कुछ दिया गया है जिसमे वर्किंग वूमेन हॉस्टल की बात कही गई है,  इसके अलावा खुद का स्वरोजगार करने वाली महिलाओं के लिए मुक्त मार्केट एक्सेस की सुविधा दिलाने का भी काम इस बजट में किया गया है। यह सब दिल्ली की कामकाजी महिलाओं के लिए वरदान बनेगा।

चांदनी चौक से सांसद ने कहा कि ऐसा बिलकुल गलत है कि दिल्ली को छोड़ कर पूरे देश को इसका लाभ मिला है, बल्कि दिल्ली को भी इस बजट में काफी कुछ मिला है और एक व्यापारिक दृष्टि से देखें तो हमारे व्यापार पर भी इसका काफी अच्छा असर पड़ेगा। 

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