साक्षात्कारः सिविल सेवा परीक्षा-2021 की टॉपर श्रुति शर्मा ने कहा- मेहनत और धैर्य दोनों जरूरी
टॉपर श्रुति शर्मा ने कहा कि सिविल परीक्षा की तैयारी रणनीति के साथ करें, मानसिक एकाग्रता का स्थिर होना जरूरी है। इन सबके अलावा परीक्षार्थी को धैय रखना चाहिए। जरूरी नहीं आप पहली या दूसरी कोशिश में निकल जाएं, तीसरे मौके में भी पार पा सकते हैं। जितने भी घंटे पढ़ाई करो, मन से करो।
सिविल सेवा परीक्षा-2021 के घोषित परिणामों में इस बार भी बेटियों का बोलबाला है। पहले, दूसरे व तीसरे स्थान पर बेटियों ने कब्जा किया है। अव्वल, स्थान पर उत्तर प्रदेश की श्रुति शर्मा रहीं जिन्होंने डीयू और जेएनयू से पढ़ाई करने के बाद यूपीएससी की तैयारी जामिया के रेजिडेंशियल कोचिंग से की। आईए जानते हैं उनकी इस सफलता के मूलमंत्र। विभिन्न पहलुओं पर रमेश ठाकुर ने टॉपर श्रुति शर्मा से विस्तृत बातचीत की। पेश हैं बातचीत के मुख्य अंश-
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प्रश्नः आप युवाओं की आइडियल बन गई हो, पूरा देश आपके विषय में जानना चाहता है, अपने विषय में विस्तार से बताएं?
उत्तर- औरों से बिल्कुल अलग नहीं हूं, सबकी तरह ही सामान्य लड़की हूं। यूपी के बिजनौर के छोटे से कस्बे बास्टा से ताल्लुक रखती हूं और दिल्ली के ईस्ट ऑफ कैलाश कॉलोनी में रहकर पढ़ाई-लिखाई की है। पिता सुनील दत्त शर्मा इंजीनियर हैं। डीयू के स्टीफंस कॉलेज से स्नातक किया है। सब्जेक्ट मेरा इतिहास रहा है और इसी से मैंने जेएनयू से परास्नातक किया है। इसके बाद बीते ढाई वर्षों से जामिया मिल्लिया इस्लामिया की रेजिडेंशियल कोचिंग से तैयारी की। बाकी परीक्षा की तैयारी दूसरों बच्चों की भांति ही की, कोई अलग तरीका नहीं अपनाया। देखिए, सफलता के लिए जितनी मेहनत जरूरी होती है उतना ही धैर्य।
प्रश्नः जब आपको पता लगा कि आप ना सिर्फ पास हुई हैं, बल्कि टॉपर हैं, तो पहला रिएक्शन क्या था?
उत्तर- थोड़ी देर तो विश्वास ही नहीं हुआ। हां, इतना पता था। फाइट में हू, सफलता मिलेगी, रैंकर भी बनूंगी। पर, टॉपर बनूंगी इसका अंदाजा नहीं था। हालांकि कुछ दोस्त बोलते थे, इस बार तुम कुछ अलग करोगी। परिणाम के बाद सबसे पहले मैंने अपनी नानी को बताया, फिर मम्मी को सूचना दी, उसके बाद पापा को फोन पर बताया। रिजल्ट के आधे घंटे बाद ही टीवी पर फोटो आने लगी, मीडिया के लोग घर पहुंचने लगे। मेरी सफलता में परिवारजनों के अलावा दोस्तों, अध्यापकों का सहयोग है जिनका मैं तहेदिल से शुक्रिया अदा करती हूँ।
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प्रश्नः सर्विस में कैडर यूपी ही चुनेंगी या बदलाव करेंगी?
उत्तर- बदलने की जरूरत ही नहीं? यूपी से हूं, यही रहना चाहूंगी, क्योंकि अपने मूल प्रदेश में बहुत कुछ करना बाकी है। भारतीय प्रशासनिक सेवा में रहकर मैं महिला सशक्तिकरण के क्षेत्र में काम करना चाहूंगी। हालांकि अभी आगे का ज्यादा नहीं सोचा है।
प्रश्नः रिजल्ट के बाद आपने अपना ट्विटर हैंडल बदल दिया जिसमें आईएएस जोड़ा है?
उत्तर- पापा खुद को गौरवान्वित महसूस कर रहे हैं। उन्होंने परिणाम के बाद ही सबसे पहले आईएएस कहकर बुलाया फिर उन्होंने कहा अपना ट्विटर बदलो, वहां अब आईएएस लिखा होना चाहिए। उनकी आंतरिक खुशी देखकर मेरी खुशी दोगुनी हो गई। मेरी सफलता से पूरा परिवार बहुत खुश है और इस खुशी का जरिया मैं बनीं, इससे बड़ी खुशी मेरे लिए दूसरी कोई और हो नहीं सकती।
प्रश्नः यूपीएससी प्रतियोगियों के लिए कोई संदेश देना चाहेंगी?
उत्तर- जी बिल्कुल। सिविल परीक्षा की तैयारी रणनीति के साथ करें, मानसिक एकाग्रता का स्थिर होना बहुत जरूरी होता है। इन सबके अलावा परीक्षार्थी को धैय रखना चाहिए। जरूरी नहीं आप पहली या दूसरी कोशिश में निकल जाएं, तीसरे मौके में भी पार पा सकते हैं। जितने भी घंटे पढ़ाई करो, मन से करो। एक वक्त एक ही सब्जेक्ट पर अपना दिमाग फोकस करें। नोट्स बनाकर तैयारी करें।
-डॉ. रमेश ठाकुर
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