सरकार जल्द ही नई पथकर नीति की घोषणा करेगी, उपभोक्ताओं को उचित रियायत देगी : गडकरी

भारत में कुल पथकर संग्रह 2023-24 में 64,809.86 करोड़ रुपये तक पहुँच गया, जो पिछले वर्ष की तुलना में 35 प्रतिशत अधिक है। 2019-20 में संग्रह 27,503 करोड़ रुपये था।
केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने बुधवार को कहा कि सरकार जल्द ही राष्ट्रीय राजमार्गों पर पथकर (टोल शुल्क) के लिए एक नई नीति की घोषणा करेगी, जिसमें उपभोक्ताओं को उचित रियायत दी जाएगी।
राज्यसभा में प्रश्नकाल के दौरान पूरक सवालों का जवाब देते हुए गडकरी ने कहा कि सरकार सड़क बुनियादी ढांचे के निर्माण पर बहुत खर्च कर रही है और इसलिए पथकर आवश्यक है।
गडकरी ने कहा, ‘‘यह विभाग की नीति है कि जब आपको अच्छी सड़क चाहिए, तो आपको इसके लिए भुगतान करना होगा।’’ असम के बारे में, उन्होंने कहा कि सरकार तीन लाख करोड़ रुपये खर्च करने की योजना बना रही है।
‘‘हम कई बड़ी सड़कें बना रहे हैं, चार लेन, छह लेन। मैं ब्रह्मपुत्र पर कई पुल बना रहा हूं। हम बाजार से धन जुटा रहे हैं। इसलिए पथकर के बिना, हम यह नहीं कर सकते। लेकिन फिर भी, हम बहुत विचारणीय हैं। हम केवल चार लेन पर पथकर वसूल रहे हैं, दो लेन पर नहीं।’’
वर्ष 2008 के नियमों के अनुसार, राष्ट्रीय राजमार्ग के एक ही खंड पर और एक ही दिशा में 60 किलोमीटर के भीतर टोल प्लाजा स्थापित नहीं किया जा सकता है। गडकरी ने कहा ‘‘कुछ अपवाद हैं। इस सत्र को पूरा करने के बाद, हम पथकर के लिए एक नई नीति घोषित करने जा रहे हैं, जहाँ समस्या का समाधान किया जाएगा और हम उपभोक्ता को उचित रियायत देंगे। ’’
भारत में कुल पथकर संग्रह 2023-24 में 64,809.86 करोड़ रुपये तक पहुँच गया, जो पिछले वर्ष की तुलना में 35 प्रतिशत अधिक है। 2019-20 में संग्रह 27,503 करोड़ रुपये था।
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