Eid-Al-Adha पर खुश होने की बजाय Abdullah-Mufti ने उगली आग, UCC आने पर देश में तूफान आने की चेतावनी दी
कश्मीर में भी पूरे उत्साह के साथ ईद मनाई गयी और सभी मस्जिदों में ईद की नमाज पढ़ने के लिए बड़ी संख्या में भीड़ जुटी। इस दौरान जहां आम लोगों ने अमन और भाईचारे की दुआ की वहीं पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती और फारुख अब्दुल्ला ने एक बार फिर जहर उगला।
आज देशभर में ईद-उल-अजहा यानी बकरीद पूरे उत्साह के साथ मनाई जा रही है। हम आपको बता दें कि इस्लामी मान्यता के अनुसार, पैगंबर हज़रत इब्राहिम अपने बेटे हज़रत इस्माइल को इसी दिन अल्लाह के हुक्म पर खुदा की राह में कुर्बान करने जा रहे थे, तो अल्लाह ने उनके बेटे इस्माइल को जीवनदान दे दिया। इसी की याद में यह त्योहार मनाया जाता है। राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति और प्रधानमंत्री ने सभी को बकरीद की बधाई दी है। देशभर की मस्जिदों में ईद की नमाज पढ़ी गयी और लोगों ने खुशी खुशी एक दूसरे को ईद की बधाई दी और देश में अमन और शांति की दुआ की।
कश्मीर में भी पूरे उत्साह के साथ ईद मनाई गयी और सभी मस्जिदों में ईद की नमाज पढ़ने के लिए बड़ी संख्या में भीड़ जुटी। इस दौरान जहां आम लोगों ने अमन और भाईचारे की दुआ की वहीं पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती और फारुख अब्दुल्ला ने एक बार फिर जहर उगला।
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पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती ने कहा कि मैं अपनी तरफ से सभी को ईद मुबारक देती हूं और दुआ करती हूं कि जिस मुश्किलों में जम्मू-कश्मीर फंसा हुआ है इससे हमें बाहर निकालें तो वहीं अब्दुल्ला ने कहा कि आजकल लोग समान नागरिक संहिता की बात कर रहे हैं, मुझे लगता है कि उनको इस तरफ सोचना चाहिए कि यह देश विविधिता से भरा है जिसमें हर मज़हब, ज़बान (भाषा) बोलने वाले लोग रहते हैं। उन्होंने कहा कि मुसलमानों का अपना शरियत कानून है जिस पर उनको नज़र रखनी चाहिए। वे इस पर सोचें कि इस कदम को उठाने से कहीं कोई तूफान न आ जाए। हम आपको याद दिला दें कि अब्दुल्ला और मुफ्ती ने जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाये जाने से पहले भी चेतावनी दी थी कि यदि ऐसा किया गया तो खून के दरिया बहने लग जायेंगे और आग लग जायेगी।
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