फर्जी, पूरी तरह से मनगढंत:सिख अलगाववादियों के लिए ‘गोपनीय मेमो’ का दावा करने वाली खबर पर मंत्रालय

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प्रतिरूप फोटो
ANI

कनाडाई प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने 18 जून को कनाडाई धरती पर खालिस्तानी चरमपंथी निज्जर की हत्या में भारतीय एजेंटों की संभावित भागीदारी का आरोप लगाया था।

भारत ने उस मीडिया रिपोर्ट को रविवार को ‘फर्जी’ और ‘पूरी तरह से मनगढंत’ बताया जिसमें दावा किया गया है कि हरदीप सिंह निज्जर समेत कुछ सिख अलगाववादियों के खिलाफ ‘सख्त’ कदम उठाने के बारे में नयी दिल्ली ने अप्रैल में एक ‘गोपनीय मेमो’ जारी किया था।

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा कि यह खबर भारत के खिलाफ निरंतर दुष्प्रचार अभियान का हिस्सा है और जिस संस्थान ने यह खबर दी है वह पाकिस्तानी खुफिया एंजेसी के फर्जी विमर्शों का प्रचार करने के लिए जाना जाता है।

ऑनलाइन अमेरिकी मीडिया संस्थान ‘द इंटरसेप्ट’ ने खबर जारी की। बागची ने कहा, हम दृढ़ता से कहते हैं कि इस प्रकार की खबरें फर्जी और पूरी तरह से मनगढ़ंत हैं। ऐसा कोई मेमो नहीं है।

कनाडाई प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने 18 जून को कनाडाई धरती पर खालिस्तानी चरमपंथी निज्जर की हत्या में भारतीय एजेंटों की संभावित भागीदारी का आरोप लगाया था।

भारत ने आरोपों को बेतुका बताते हुए दृढ़ता से उन्हें खारिज किया था। ‘द इंटरसेप्ट’ ने दावा किया है कि विदेश मंत्रालय द्वारा अप्रैल में जारी किए गए ‘गोपनीय मोमो’ में कनाडाई नागरिक हरदीप सिंह निज्जर सहित कई सिख चरमपंथियों की सूची थी जिनके खिलाफ भारत की खुफिया एजेंसियां जांच कर रही हैं।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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