ओले से बर्बाद हुई फसल, कलेक्टर और पूर्व विधायक के पैरों में गिर कर रोने लगा किसान

Gwalior farmer cried in front of mla
सुयश भट्ट । Jan 10 2022 4:04PM

पिछले तीन दिन से ग्वालियर में बारिश के साथ होने के कारण किसानों की फसल पूरी तरह बर्बाद हो चुकी है। जब बारिश थमी उसके बाद शिवपुरी में बर्बाद फसल का जायजा लेने कलेक्टर अक्षय कुमार सिंह,कोलारस के पूर्व विधायक महेंद्र यादव के साथ कई गांव में पहुंचे। जिसके बाद किसानों का दर्द फूट पड़ा।

भोपाल। मध्य प्रदेश के शिवपुरी जिले में नए साल की शुरुआत में ही ग्वालियर चंबल अंचल में लगातार तीन दिन बारिश और ओलों ने किसानों की कमर तोड़ दी है। अंचल पुलिस ने किसानों के खेत में खड़ी फसल पूरी तरह बर्बाद हो चुकी है।

ओले गिरने से खेत से लेकर अनाज मंडी तक किसानों को नुकसान उठाना पड़ा है। इसमें किसान कितने विवश और लाचार है इसका एक वीडियो सामने आया है। शिवपुरी में खराब फसल देखने गए कलेक्टर और पूर्व विधायक के पैरों में गिरकर किसान रोने लगा। पूर्व विधायक के पैरों में पड़ कर किसान ने बर्बाद फसल दिखाकर मुआवजे की मांग की।

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दरअसल पिछले तीन दिन से ग्वालियर में बारिश के साथ होने के कारण किसानों की फसल पूरी तरह बर्बाद हो चुकी है। जब बारिश थमी उसके बाद शिवपुरी में बर्बाद फसल का जायजा लेने कलेक्टर अक्षय कुमार सिंह,कोलारस के पूर्व विधायक महेंद्र यादव के साथ कई गांव में पहुंचे। जिसके बाद किसानों का दर्द फूट पड़ा।

इसी मौके पर किसान जानकी लाल अधिकारियों और महेंद्र सिंह के पैरों में गिरकर रोने लगा। ग्राम दीघोद में किसान जानकी लाल धाकड़ का यहां तक कहना था कि साहब हमारे प्राण नहीं निकल रहे, बाकी सब खत्म हो गया है। उसने कहा हम पूरी तरह बर्बाद हो चुके हैं हम कर्ज से बुरी तरह दब चुकी है। बस हमारे पास आत्महत्या के अलावा और कोई चारा नहीं बचा है।

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वहीं जब पूर्व विधायक और अधिकारियों ने किसानों को आश्वासन दिलाया कि जल्द ही सरकार की तरफ से मुआबजा मिलेगा। इसके लिए सीएम शिवराज ने सर्वे के निर्देश दे दिए है। तो किसानों ने कहा कि बाढ़ के समय भी उनके नुकसान का जायजा लिया गया। सर्वे हुआ लेकिन आज तक न तो मकान गिरने का मुआवजा मिला है और न ही फसल का। ऐसे में कैसे विश्वास किया जाए कि सरकार जल्द मुआवजा किसानों को दे देगी।

आपको बता दें कि ग्वालियर चंबल अंचल में साल 2020 के अंत मे आई भीषण बाढ़ से किसान पूरी तरह बर्बाद हो गए थे घर मलबे में तब्दील हो गए, फसल पूरी तरह बर्बाद हो चुके थे। उसके बाद फिर भीषण बारिश ने किसानों को बर्बाद कर दिया था और अब नई साल की शुरुआत होते ही फिर बारिश और ओलों ने किसानों की फसल पूरी तरह बर्बाद कर दी।

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