धनशोधन मामले में अनिल देशमुख की जमानत के मुद्दे पर उच्चतम न्यायालय का हस्तक्षेप से इनकार

Anil Deshmukh
ANI

न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति हिमा कोहली की पीठ ने प्रवर्तन निदेशालय द्वारा दायर अपील को खारिज करते हुए कहा कि आदेश में उच्च न्यायालय द्वारा की गई टिप्पणियों से मामले में सुनवाई प्रभावित नहीं होगी। उच्च न्यायालय ने चार अक्टूबर को पूर्व मंत्री को इस मामले में जमानत दे दी थी।

नयी दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने धनशोधन के एक मामले में महाराष्ट्र के पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख को जमानत देने के बंबई उच्च न्यायालय के आदेश में हस्तक्षेप करने से मंगलवार को इनकार कर दिया। न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति हिमा कोहली की पीठ ने प्रवर्तन निदेशालय द्वारा दायर अपील को खारिज करते हुए कहा कि आदेश में उच्च न्यायालय द्वारा की गई टिप्पणियों से मामले में सुनवाई प्रभावित नहीं होगी।

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उच्च न्यायालय ने चार अक्टूबर को पूर्व मंत्री को इस मामले में जमानत दे दी थी और कहा था कि उनके परिवार के ट्रस्ट के बैंक खाते में जमा दो राशि अपराध की आय नहीं हैं। हालांकि, ईडी द्वारा आदेश को उच्चतम न्यायालय में चुनौती देने का अभिवेदन किए जाने के बाद उच्च न्यायालय ने 13 अक्टूबर तक अपने आदेश के कार्यान्वयन पर रोक लगा दी थी।

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दो नवंबर, 2021 को गिरफ्तार किए गए राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के नेता को केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा दर्ज किए गए भ्रष्टाचार के एक मामले का भी सामना करना पड़ रहा है। पूर्ववर्ती महा विकास आघाड़ी (एमवीए) सरकार में मंत्री रहे देशमुख मुंबई की ऑर्थर रोड जेल में बंद हैं। ईडी ने दावा किया कि देशमुख ने अपने आधिकारिक पद का दुरुपयोग किया और मुंबई के विभिन्न बार और रेस्तराओं से 4.70 करोड़ रुपये एकत्र किए।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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