प्रकाश करात ने किसानों एवं मजदूरों से निजीकरण के खिलाफ संघर्ष करने का आह्वान कियान

Prakash Karat
प्रतिरूप फोटो

मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) के वरिष्ठ नेता प्रकाश करात ने रविवार को कहा कि देश के किसान तीन कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग को लेकर 11 महीनों से दिल्ली की सीमाओं पर बैठे हैं लेकिन मोदी सरकार अपने रूख पर अड़ी है।

सीकर (राजस्थान)| मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) के वरिष्ठ नेता प्रकाश करात ने रविवार को किसानों एवं मजदूरों से केंद्र सरकार की निजीकरण नीतियों के खिलाफ संघर्ष में एकजुट हो जाने का आह्वान किया।

उन्होंने कहा कि देश के किसान तीन कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग को लेकर 11 महीनों से दिल्ली की सीमाओं पर बैठे हैं लेकिन मोदी सरकार अपने रूख पर अड़ी है।

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करात ने यहां माकपा के 23 वें प्रदेश सम्मेलन के उद्घाटन सत्र में कहा, ‘‘ जब कोरोना वायरस महामारी चरम पर थी तब केंद्र कृषि कानून लाया। इस भाजपा सरकार ने कोयले, रेल, बीमा, बैंकों, एयरलाइन और रक्षा उपकरण विनिर्माण फैक्टरियों का भी निजीकरण कर दिया। किसानों, श्रमिकों एवं देश के अन्य मेहनतकश लोगों को केंद्र की नीतियों के विरूद्ध संघर्ष के लिए एकजुट हो जाना चाहिए। ’’

माकपा की केंद्रीय समिति के सदस्य हन्नान मोल्ला ने भी सम्मेलन को संबोधित किया। इस सम्मेलन में राजस्थान के विभिन्न हिस्सों से 250 से अधिक प्रतिनिधि हिस्सा ले रहे हैं।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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