मेरी सरकार स्थिर, मिलकर चुनाव लड़ेंगे सहयोगी दल: उद्धव ठाकरे
उन्होंने जोर दिया कि उनकी सरकार स्थिर है और गठबंधन के सहयोगियों को वैचारिक रूप से भिन्न माना जाता है, लेकिन राज्य के हित और लोगों के कल्याण तीनों दलों को एक जुट करते हैं।
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ठाकरे ने कहा, ‘‘विगत में हम एक वैचारिक गठबंधन में थे लेकिन उस विचारधारा की नींव (विश्वास पर) पर विश्वासघात किया गया था।’’ शिवसेना और भाजपा का गठबंधन 1995-1999 और 2014-19 में सरकार में था। ठाकरे ने राजनीतिक प्रतिद्वंद्वियों कांग्रेस और राकांपा के साथ सरकार बनाने के लिए अपनी पार्टी के गठबंधन का बचाव किया और कहा कि शिवसेना का गठबंधन ऐसी सहयोगी (भाजपा) से था जिनकी सोच संकुचित है। अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की मौत मामले में पुत्र आदित्य और भूमि सौदे में पत्नी रश्मि को भाजपा द्वारा निशाना बनाए जाने का जिक्र करते हुए ठाकरे ने कहा, अब आप महसूस करेंगे कि जब हम भाजपा के साथ गठबंधन में थे तब क्या हुआ था। विकृत सोच अब उजागर हो गयी है। ठाकरे ने कहा कि पिछले साल नहीं भूलने वाला मौका 25 से 30 साल पुराने दोस्त द्वारा विश्वासघात था।
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उन्होंने कहा कि शिवसेना ने नीतिगत मामलों पर भाजपा की आलोचना की थी और परिवार के सदस्यों को निशाना नहीं बनाया। ठाकरे ने हिंदुत्व के मुद्दे पर कहा, हिंदुत्व की मेरी परिनहीं बदली है। यह सुसंस्कृत है और भाजपा की तरह दूषित नहीं है। हिंदुत्व में संस्कृति बहुत महत्वपूर्ण है। ठाकरे ने भूमि सौदे के संबंध में भाजपा के दावे का जिक्र करते हुए कहा, ‘‘जब हम आपके (भाजपा) साथ थे , तो हम अच्छे हैं। भूमि सौदे तब हुए, जब आप सरकार में थे।’’ उन्होंने कहा कि उन्हें निशाना बनाने वाले भाजपा नेता सभी बाहरी हैं और वे मूल भाजपा के नहीं हैं। उन्होंने कहा, ‘‘क्या भाजपा अब बाहरी लोगों द्वारा चलाई जा रही है।’’ उनकी राष्ट्रीय महत्वाकांक्षाओं के बारे में पूछे जाने पर ठाकरे ने कहा कि भाजपा के खिलाफ महाराष्ट्र में तीन दलों के गठबंधन ने राष्ट्रीय स्तर पर एक संदेश दिया है।
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