BJP पर बरसे मल्लिकार्जुन खड़गे, कहा- हमारे पास गांधी-नेहरू की विरासत, झूठ को चकनाचूर कर देंगे
राज्यसभा में विपक्ष के नेता ने कांग्रेस कार्यकर्ताओं को याद दिलाया कि पार्टी महात्मा गांधी और जवाहर लाल नेहरू की विरासत है। हमारे पास गांधी-नेहरू की विरासत है, नए संकल्प के साथ बेलगाम से लौटेंगे; यह निराशा का नहीं बल्कि एकजुट होने का, विरोधियों के झूठ को तोड़ने का समय है।
सीडब्ल्यूसी की बैठक में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि चुनावी प्रक्रिया में लोगों का विश्वास धीरे-धीरे कम हो रहा है और भारत के चुनाव आयोग की निष्पक्षता पर सवाल उठ रहे हैं। खड़गे ने सत्तारूढ़ भाजपा पर आरोप लगाए और दावा किया कि वह भारत के लिए महत्वपूर्ण सभी संस्थानों पर कब्जा करना चाहती है। उन्होंने कहा कि बीजेपी EC जैसी सभी संवैधानिक संस्थाओं पर कब्ज़ा करना चाहती है, लेकिन हम ये लड़ाई लड़ते रहेंगे। ऐसा क्या है जो यह सरकार उन चुनाव नियमों को बदलकर छिपाने की कोशिश कर रही है जिन्हें अदालत ने साझा करने का आदेश दिया था।
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इसके अलावा, राज्यसभा में विपक्ष के नेता ने कांग्रेस कार्यकर्ताओं को याद दिलाया कि पार्टी महात्मा गांधी और जवाहर लाल नेहरू की विरासत है। हमारे पास गांधी-नेहरू की विरासत है, नए संकल्प के साथ बेलगाम से लौटेंगे; यह निराशा का नहीं बल्कि एकजुट होने का, विरोधियों के झूठ को तोड़ने का समय है। इसके अलावा, खड़गे ने अपने संबोधन में न केवल कड़ी मेहनत बल्कि बेहतर रणनीतियों के महत्व पर भी जोर दिया। खड़गे ने कहा कि केवल कड़ी मेहनत पर्याप्त नहीं है, समय पर ठोस रणनीति, दिशा जरूरी है; नई शक्ति, नेतृत्व को मौका देने की जरूरत है।
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उन्होंने कहा कि 100 साल पहले यहीं 26 दिसंबर 1924 को 3 बजे राष्ट्रपिता महात्मा गांधी ने कांग्रेस अध्यक्ष की जिम्मेदारी संभाली थी। इससे पहले मौलाना मुहम्मद अली कांग्रेस अध्यक्ष थे। इस मौके पर सेवादल के संस्थापक Dr. N S Hardikar को याद कर मैं उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करता हूँ। यहीं से कांग्रेस के इतिहास में रोज सुबह राष्ट्रीय ध्वज समारोह पूर्वक फहराने और शाम को उतारने का सिलसिला आरंभ हुआ। गांधीजी केवल एक बार एक साल के लिए ही कांग्रेस अध्यक्ष बने थे। लेकिन उन्होंने इसके बाद इतनी लंबी लकीर खींची कि उसकी बराबरी कर पाना किसी भी राजनेता के लिए संभव नहीं है ।
खड़गे ने कहा कि गांधीजी ने कांग्रेस के संविधान को नया रूप दिया। गांव, गरीब, किसानों औऱ मजदूरों के दिलों में कांग्रेस के लिए मजबूत आधार बनाया। कांग्रेस संगठन को रचनात्मक कामों से जोड़ा। छुआछूत औऱ भेदभाव के खिलाफ मुहिम को कांग्रेस के मुख्य एजेंडे में शामिल किया। आप सभी को गर्व होना चाहिए कि कांग्रेस पार्टी के पास राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की विरासत है। हम लोग उनके उत्तराधिकारी है।
बेलगाम सत्र की 100वीं वर्षगांठ मनाने के लिए गुरुवार को कांग्रेस कार्य समिति (सीडब्ल्यूसी) की बैठक हुई, जिसका शीर्षक "नव सत्याग्रह बैठक" था, जहां महात्मा गांधी ने भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की अध्यक्षता संभाली थी। यह ऐतिहासिक बैठक पार्टी के लिए 2025 में सामने आने वाली राजनीतिक और चुनावी चुनौतियों पर अपनी प्रतिक्रिया की रणनीति बनाने के लिए एक मंच के रूप में भी काम करती है। इतिहास में गहरी जड़ें जमा चुका यह आयोजन उसी स्थान पर हो रहा है जहां गांधीजी ने दीक्षा ली थी।
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