US के होटल में मीटिंग, आतंकी भुल्लर की रिहाई का वादा, 134 करोड़ की खालिस्तानी फंडिंग, अब कौन सी बड़ी मुसीबत में फंसे केजरीवाल?
शिकायत में अरविंद केजरीवाल द्वारा इकबाल सिंह को लिखा गया एक पत्र शामिल है जिसमें आप नेता ने कथित तौर पर कहा है कि उनकी सरकार इस मुद्दे के प्रति सहानुभूति रखती है और पूर्ण न्याय सुनिश्चित करने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाएगी।
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल नई और बड़ी मुसीबत में फंस गए हैं। एलजी विनय सक्सेना ने आतंकी जांच की सिफारिश की है। आतंकी संगठन सिख फॉर जस्टिस से फंड लेने का आरोप अरविंद केजरीवाल पर लगा है। ये पूरा आरोप 16 मिलियन अमेरिकी डॉलर फंड लेने का है। हिंदुस्तान के राजनीतिक पार्टी के खिलाफ एनआईए जांच की सिफारिश किया जाना अपने आप में बड़ी घटना है। वजह ये है कि एक प्रतिबंधित आतंकी संगठन से 16 मिलियन डॉलर की फंड लेकर सरकार में आने पर सजा माफ करने की बात है। आपको याद होगा सिख फॉर जस्टिस वाला आतंकी गुरुवतपंत सिंह पन्नू जिसके अक्सर गीदड़भभकी वाले वीडियो सामने आते रहते है। जिसमें वो कभी भारत को धमकी देता तो कभी खालिस्तान के सपोर्ट की बातें करता नजर आता है। पन्नू ने एक वीडियो बनाया था जिसमें उसने दावा किया था कि अरविंद केजरीवाल के अमेरिका दौरे के दौरान उससे मुलाकात हुई थी व उसे 16 मिलियन डॉलर यानी 134 करोड़ रुपए सिख फॉर जस्टिस की तरफ से दिया गया था। ये दावा पन्नून की तरफ से किया गया था। इस वीडियो में पन्नू ने कुछ फुटेज इस्तेमाल किए थे जिसमें सिख समुदाय के कुछ लोगों के साथ अमेरिका के होटल में अरविंद केजरीवाल मीटिंग करते नजर आए थे। उस फुटेज में अरविंद केजरीवाल की बगल में मुनीष रायजादा बैठे नजर आए। पेशे से डॉक्टर रायजादा अन्ना हजारे के साथ आंदोलन में शामिल भी हुए थे।
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अरविंद केजरीवाल पर क्या है 'खालिस्तानी फंडिंग' का आरोप?
एलजी की तरफ से शिकायत में एक वीडियो का हवाला दिया गया है जिसमें कथित तौर पर सिख फॉर जस्टिस के संस्थापक गुरपतवंत सिंह पन्नून को दिखाया गया है, जिसमें दावा किया गया है कि आप को 2014 और 2022 के बीच खालिस्तानी समूहों से 16 मिलियन डॉलर की भारी फंडिंग मिली। इसमें आगे आरोप लगाया गया है कि 2014 में अरविंद केजरीवाल ने न्यूयॉर्क के गुरुद्वारा रिचमंड हिल्स में खालिस्तानी समर्थक सिखों के साथ एक गुप्त बैठक में भाग लिया था। इस बैठक के दौरान, केजरीवाल ने कथित तौर पर खालिस्तानी गुटों से आप को वित्तीय सहायता के बदले में एक दोषी आतंकवादी देवेंदर पाल भुल्लर की रिहाई की सुविधा देने का वादा किया था।
केजरीवाल से पत्र मिलने के बाद समाप्त कर दिया था अनशन
शिकायत में अरविंद केजरीवाल द्वारा इकबाल सिंह को लिखा गया एक पत्र शामिल है जिसमें आप नेता ने कथित तौर पर कहा है कि उनकी सरकार इस मुद्दे के प्रति सहानुभूति रखती है और पूर्ण न्याय सुनिश्चित करने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाएगी। सक्सेना ने पत्र में कहा कि इसमें आगे उल्लेख है कि दिल्ली सरकार पहले ही राष्ट्रपति को प्रोफेसर भुल्लर की रिहाई की सिफारिश कर चुकी है और एसआईटी के गठन आदि सहित अन्य मुद्दों पर काम करेगी। उस समय की समाचार रिपोर्टों के अनुसार, इकबाल सिंह भुल्लर की रिहाई के लिए लिखित आश्वासन की मांग को लेकर जंतर-मंतर पर अनशन पर बैठे थे। उन्होंने केजरीवाल से पत्र मिलने के बाद अनशन समाप्त कर दिया।
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बंद कमरे में बैठक
शिकायत एक्स पर एक पूर्व आप कार्यकर्ता द्वारा किए गए कुछ पुराने सोशल मीडिया पोस्टों की ओर भी इशारा करती है। उन्होंने 2014 में रिचमंड हिल गुरुद्वारे में सिख नेताओं के साथ केजरीवाल की एक तस्वीर साझा की थी। डॉ मुनीश कुमार रायज़ादा के ट्वीट में दावा किया गया कि सार्वजनिक बैठकों के अलावा, केजरीवाल ने बंद कमरे में बैठकें कीं। शिकायतकर्ता के अनुसार, गुरुद्वारे में खालिस्तान समर्थक सिख नेताओं के साथ चर्चा। शिकायतकर्ता द्वारा दिए गए इलेक्ट्रॉनिक साक्ष्यों की फोरेंसिक जांच सहित जांच की आवश्यकता है, ”सक्सेना ने कहा है। पत्र में कहा गया है कि शिकायत एक मुख्यमंत्री के खिलाफ की गई है और एक प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन से प्राप्त राजनीतिक फंडिंग से संबंधित है।
Arvind @ArvindKejriwal with Richmond Hill Gurudwara executives, listening to the concerns of Sikh community. pic.twitter.com/O9yQlJwlk7
— Dr. Munish Kumar Raizada (@DrMunishRaizada) December 7, 2014
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