जद (यू) का कहना है कि शाह बिहार दौरे के दौरान सांप्रदायिक अशांति पैदा करने की कोशिश करेंगे
शाह का 23-24 सितंबर को पूर्णिया और किशनगंज का दौरा करने का कार्यक्रम है। दोनों जिले अल्पसंख्यक बहुल हैं। गौरतलब है कि पिछले ही महीने भाजपा का साथ छोड़कर नीतीश ने राजद और कांग्रेस आदि पार्टियों के साथ गठजोड़ करके राज्य में महागठबंधन की नयी सरकार बनायी है।
पटना, 5 सितंबर। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की पार्टी जदयू ने रविवार को आरोप लगाया कि इस महीने के अंत में राज्य के दौरे पर आ रहे केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह उस दौरान ‘सांप्रदायिक अशांति फैलाने’ की कोशिश करेंगे। जनता दल यूनाइटेड (जदयू) के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘जब अमित शाह यहां होंगे तो वह बिहार और देश भर में सांप्रदायिक अशांति फैलाने की कोशिश करेंगे। लेकिन बिहार के लोग सतर्क हैं और वह (भाजपा) सांप्रदायिक ध्रुवीकरण को भुनाने में सक्षम नहीं होंगे।’’
शाह का 23-24 सितंबर को पूर्णिया और किशनगंज का दौरा करने का कार्यक्रम है। दोनों जिले अल्पसंख्यक बहुल हैं। गौरतलब है कि पिछले ही महीने भाजपा का साथ छोड़कर नीतीश ने राजद और कांग्रेस आदि पार्टियों के साथ गठजोड़ करके राज्य में महागठबंधन की नयी सरकार बनायी है। राज्य में राजनीति बदलाव के बाद भाजपा के प्रमुख रणनीतिकार माने जाने वाले अमित शाह पहली बार बिहार आ रहे हैं। हालांकि जदयू नेता ललन ने जोर देकर कहा कि भाजपा का सफाया हो जाएगा और जदयू, राजद, कांग्रेस और वाम दलों के महागठबंधन को अगले लोकसभा चुनाव में राज्य में सभी 40 सीटों पर जीत मिलेगी।
उन्होंने यह भी दावा किया कि भाजपा ‘‘अपने शुरुआती बिंदू पर वापस आ जाएगी जब उसने केवल दो सीटें जीतीं थीं।’’ गौरतलब है कि भाजपा के फिलहाल 300 से ज्यादा सांसद हैं, लेकिन 1984 में उसके पास लोकसभा में महज दो सीटें थीं। उन्होंने जोर देकर कहा, ‘‘यह संभव है। उनका (भाजपा) वोट शेयर 38 प्रतिशत था। कल्पना कीजिए कि यदि शेष 62 प्रतिशत एक साथ आ जाते हैं तो क्या होगा। एक बार गति प्राप्त करने के बाद संयुक्त विपक्ष को कुल वोट शेयर का 75 प्रतिशत मिल सकता है।’’
गौरतलब है कि ललन के इस बयान से महज एक दिन पहले जदयू ने अपनी राष्ट्रीय कार्यकारिणी में नीतीश कुमार को विपक्षी एकता हासिल करने के लिए सभी निर्णय लेने के लिए अधिकृत किया है। विपक्ष के राहुल गांधी और अरविंद केजरीवाल जैसे नेताओं के साथ बातचीत करने के लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का सोमवार को दिल्ली जाने का कार्यक्रम है।
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