जाधव मुद्दे की संसद में गूंज, पाक को बेनकाब करने की मांग
कुलभूषण जाधव को पाकिस्तान द्वारा फांसी की सजा सुनाए जाने का मुद्दा आज लोकसभा में उठा और सभी राजनीतिक दलों ने एक स्वर में जाधव को सुरक्षित स्वदेश लाए जाने की मांग की।
भारतीय नौसेना के पूर्व अधिकारी कुलभूषण जाधव को पाकिस्तान द्वारा फांसी की सजा सुनाए जाने का मुद्दा आज लोकसभा में उठा और सभी राजनीतिक दलों ने एक स्वर में जाधव को सुरक्षित स्वदेश लाए जाने और संयुक्त राष्ट्र जैसे अंतरराष्ट्रीय मंचों पर पाक को बेनकाब करने की मांग की गयी। सुबह सदन की कार्यवाही शुरू होने पर भाजपा के किरीट सोमैया ने यह मामला उठाया और सरकार से पाकिस्तान की इस कार्रवाई की निंदा किए जाने की मांग की।
कांग्रेस के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने सरकार को निशाने पर लेते हुए कहा कि केंद्र सरकार इस मामले में चुप क्यों बैठी है? उन्होंने कहा कि विदेश मंत्री को जाधव को बचाने की कोशिश करनी चाहिए अन्यथा यह भारत की कमजोरी साबित होगा। खड़गे ने सरकार से कहा कि उसके पास इस मामले में प्रतिक्रिया की ताकत होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी बिना निमंत्रण के पाकिस्तान के प्रधानमंत्री की बेटी की शादी में चले जाते हैं लेकिन इस मामले में चुप हैं।
इस पर संसदीय कार्य मंत्री अनंत कुमार ने कहा कि इस मामले में राजनीति नहीं होनी चाहिए। प्रधानमंत्री इस पर जवाब देंगे और विदेश मंत्री भी जवाब देंगी तथा पूरा सदन जाधव के साथ है। भाजपा के निशिकांत दुबे ने इस मुद्दे पर राजनीति नहीं करने की अपील करने के साथ ही मांग की कि भारत सरकार पाकिस्तान को आंतकवादी राष्ट्र घोषित करे और सदन सर्वसम्मति से पाकिस्तान की कार्रवाई की निंदा करते हुए प्रस्ताव पारित करे। अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने भी कहा कि पूरा सदन इस मामले में जाधव के साथ है। आल इंडिया मजलिस ए इत्तेहादुल मुसलमीन के असादुद्दीन औवेसी ने इस मामले को गंभीरता से लिए जाने की जरूरत बतायी और कहा कि पाकिस्तान की हरकतों को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बेनकाब किए जाने की मांग की। उन्होंने कहा कि जाधव की जान बचाना हम सब की जिम्मेदारी है।
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