CM योगी आदित्यनाथ का निर्देश, भविष्य की जरूरतों को ध्यान में रखकर खोलें वायरस शोध संस्थान
सीएम योगी ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि वह भविष्य की आवश्यकताओं को देखते हुए वायरस रिसर्च सेंटर को स्थापित करें। मुख्यमंत्री ने कहा कि वायरस और इससे प्रसारित संक्रमण पूरी दुनिया के समक्ष हमेशा एक चुनौती रहा है। कोविड-19 जैसी वैश्विक महामारी इसका एक उदाहरण है।
लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने राज्य में कोविड—19, जेई, डेंगू सहित अन्य वायरस के मददेनजर उन्नत एवं उत्कृष्ट शोध संस्थान की आवश्यकता बताते हुए बृहस्पतिवार को निर्देश दिये कि राज्य में बीएसएल-4 स्तर के एडवांस सेंटर फॉर वायरस रिसर्च एंड थेराप्यूटिक्स स्थापित करने के लिए ठोस कार्ययोजना प्रस्तुत की जाए। योगी ने यह निर्देश अपने सरकारी आवास पर प्रदेश में एडवांस सेन्टर फॉर वायरस रिसर्च एण्ड थेराप्यूटिक्स :चिकित्सा शास्त्र: स्थापित किये जाने के सम्बन्ध में दिये गये प्रस्तुतिकरण के अवसर पर दिया। उन्होंने इस सम्बन्ध में मुख्य सचिव, अपर मुख्य सचिव प्राविधिक शिक्षा तथा अपर मुख्य सचिव वित्त को प्रस्ताव तैयार करने के निर्देश दिये।
इसे भी पढ़ें: सीएए विरोधी प्रदर्शन में सार्वजनिक संपत्तियों को पहुंचाया था नुकसान, अब 16 जुलाई से संपत्ति की होगी नीलामी
उन्होंने कहा कि अधिकारीगण सीएसआईआर-सेन्ट्रल ड्रग रिसर्च इंस्टीट्यूट, किंग जार्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी, लखनऊ तथा डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम टेक्निकल यूनिवर्सिटी, लखनऊ के साथ इस सम्बन्ध में विचार-विमर्श करते हुए शीघ्र कार्यवाही करें। मुख्यमंत्री ने कहा कि वायरस और इससे प्रसारित संक्रमण पूरी दुनिया के समक्ष हमेशा एक चुनौती रहा है। कोविड-19 जैसी वैश्विक महामारी इसका एक उदाहरण है। वर्तमान समय और भविष्य के दृष्टिगत प्रदेश में वायरस के सम्बन्ध में बीएसएल—4 स्तर के एक उन्नत एवं उत्कृष्ट स्तर के शोध संस्थान की स्थापना की कार्रवाई शीघ्रता से की जाए। बीएसएल—4 बायो सेफ्टी लेवल—4 है, जिसे बायो सुरक्षा का उच्चतम स्तर माना जाता है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में केजीएमयू और सीडीआरआई जैसे उत्कृष्ट संस्थान मौजूद हैं, जो इस दिशा में बेहतर कार्य कर सकते हैं। इसी प्रकार एकेटीयू, कम्प्यूटर और आर्टिफिशियल इन्टेलिजेन्स के क्षेत्र में अपनी सेवाएं प्रदान कर सकता है।
अन्य न्यूज़