किसान आंदोलन से बिगड़ते समीकरण के बीच बीजेपी ने चली नई चाल, 'मोदी मैन' एके शर्मा पश्चिमी यूपी में करेंगे ये काम
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के करीबी सहयोगी और उत्तर प्रदेश इकाई के उपाध्यक्ष अरविंद कुमार शर्मा डैमेज कंट्रोल के लिए मैदान में उतर रहे हैं। शर्मा 10 सितंबर से नोएडा, ग्रेटर नोएडा और बुलंदशहर में जनसभाएं कर पश्चिमी उत्तर प्रदेश की जनता से संपर्क साधेंगे।
उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनाव में साल भर से भी कम का वक्त शेष है। ऐसे में सरकार की तरफ से लगातार अपने समीकरणों को दुरुस्त किया जा रहा है। किसान आंदोलन की वजह से पश्चिम यूपी में बीजेपी की समीकरण गड़बड़ा रहा है। 2013 मुजफ्फरनगर दंगे के बाद बीजेपी में आया जाट वोटर किसान आंदोलन की वजह से उससे छिटकता दिखाई दे रहा है। ऐसे में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के करीबी सहयोगी और उत्तर प्रदेश इकाई के उपाध्यक्ष अरविंद कुमार शर्मा डैमेज कंट्रोल के लिए मैदान में उतर रहे हैं। शर्मा 10 सितंबर से नोएडा, ग्रेटर नोएडा और बुलंदशहर में जनसभाएं कर पश्चिमी उत्तर प्रदेश की जनता से संपर्क साधेंगे।
पश्चिमी यूपी में सक्रियता से करेंगे काम
पूर्व आईएएस अधिकारी एवं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के करीबी सहयोगी रहे शर्मा ने कहा कि वह अब पश्चिमी उत्तर प्रदेश में सक्रियता के साथ काम करेंगे। बुलंदशहर जिले की उनकी यात्रा 10 तारीख को शुरू होगी। वह गौतम बुद्ध नगर जिले में 12 सितंबर को नोएडा और 13 सितंबर को ग्रेटर नोएडा के निवासियों के साथ बैठक करेंगे। इस यात्रा के दौरान वह स्थानीय व्यापार एवं उद्योग निकायों के प्रतिनिधियों के साथ भी संवाद करेंगे।
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दूसरी लहर के दौरान एक्टिव मोड में आए थे नजर
पश्चिमी उत्तर प्रदेश की उनकी पिछली यात्रा कोविड-19 की दूसरी लहर के दौरान खासकर दवाइयों एवं चिकित्सा उपकरणों के वितरण के लिए हुई थी और उससे पहले उन्होंने गाजियाबाद में एक बड़ी रैली एवं सार्वजनिक कार्यक्रम किये थे। एके शर्मा 10 से 13 सितंबर तक मैं बुलंदशहर, नोएडा एवं ग्रेटर नोएडा समेत इस क्षेत्र में रहेंगे।
वाराणसी मॉडल की पीएम भी कर चुके तारीफ
प्रधानमंत्री मोदी ने कोरोना की दूसरी लहर के दौरान कोविड नियंत्रण में वाराणसी मॉडल की तारीफ की थी। दरअसल, एके शर्मा काशी व पूर्वांचल के आसपास कोविड नियंत्रण से जड़ी रणनीति बनाने व उसके क्रियान्वयन की जिम्मेदारी निभा रहे थे। काशी पीएम मोदी का संसदीय क्षेत्र है। कोरोना की दूसरी लहर में एके शर्मा की सक्रियता खूब दिखी। राजनीति में महज पांच महीने पुराने एके शर्मा पूर्वांचल के जिलों में समीक्षा बैठक लेकर अधिकारियों को दिशा-निर्देश देते देखे गए थे।
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