बीएचयू लाठीचार्ज: कांग्रेस ने वीसी को बर्खास्त करने की मांग की
कांग्रेस ने बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय में छात्राओं पर हुए लाठीचार्ज के मामले में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा अभी तक चुप्पी साधे रखने पर सवाल उठाते हुए इस शिक्षण संस्थान के कुलपति को बर्खास्त करने तथा पूरे घटनाक्रम की उच्च न्यायालय के न्यायाधीश से जांच कराने की आज मांग की।
नयी दिल्ली। कांग्रेस ने बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय में छात्राओं पर हुए लाठीचार्ज के मामले में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा अभी तक चुप्पी साधे रखने पर सवाल उठाते हुए इस शिक्षण संस्थान के कुलपति को बर्खास्त करने तथा पूरे घटनाक्रम की उच्च न्यायालय के न्यायाधीश से जांच कराने की आज मांग की। कांग्रेस के प्रवक्ता मनीष तिवारी ने संवाददातओं से कहा, ‘‘बनारस प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का संसदीय क्षेत्र है। उनकी सरकार एक व्यापक कार्यक्रम चला रही है ‘बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ’। जब बेटियां पढ़-लिखकर अपने हक की लड़ाई लड़े तो उन पर लाठियां चलाई जाती हैं।’’
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री वैसे तो हर बात पर ट्वीट करते हैं, ‘‘मन की बात’’ करते हैं किन्तु अपने ही संसदीय क्षेत्र में लड़कियों पर हुए लाठीचाज पर उन्होंने अभी तक एक शब्द भी नहीं बोला है और पूरी तरह से चुप्पी साध ली है। तिवारी ने कहा, ‘‘विश्वविद्यालय के कुलपति को छात्राओं से यह कहने के लिए डूब मरना चाहिए कि यदि उन्हें अपनी इज्जत प्यारी है तो उनहें छह बजे के बाद छात्रावास से बाहर नहीं निकलना चाहिए।’’ उन्होंने कहा कि वहां असामाजिक तत्वों पर कार्रवाई करने के बजाय छात्राओं पर ही लाठियां बरसायी जाती हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘इस तरह के असंवेदनशील कुलपति को तुरंत बर्खास्त किया जाना चाहिए। राष्ट्रपति बीएचयू के विजीटर हैं। उन्हें मामले का संज्ञान लेते हुए तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए।’’कांग्रेस नेता ने कहा, ‘‘इस पूरे घटनाक्रम की उच्च न्यायालय के न्यायाधीश से जांच करायी जानी चाहिए। साथ ही छात्राओं पर लाठीचार्ज कराने के दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जानी चाहिए।’’उन्होंने कहा कि देश भर के छात्र-छात्राओं पर ‘‘जुल्म करना इस सरकार का डीएनए बन गया है। यही कारण है कि देश के छात्र इस सरकार को नकार रहे हैं। इस बात का पता हैदराबाद विश्वविद्यालय में रोहित वैमुला के समर्थकों की जीत से चलता है
। दिल्ली, राजस्थान, पंजाब आदि विश्वविद्यालयों के छात्रसंघ चुनावों के नतीजों से छात्राओं ने दिखा दिया है कि वह वर्तमान केन्द्र सरकार को पसंद नहीं कर रही है।’’ उन्होंने सरकार को आगाह किया कि छात्रों पर दमन करने के नतीजे उसे भुगतने पड़ सकते हैं। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बयान दिया है कि जांच के बाद बीएचयू की सारी सच्चाई सामने आ जाएगी। इस बयान पर प्रतिक्रिया पूछे जाने पर तिवारी ने कहा कि जब से योगी सरकार उप्र में सत्ता में आयी है, गोरखपुर और फरूखाबाद में बच्चों की मौत की घटनाओं से पता चल गया कि उनकी सरकार कितनी संवेदनशील है।
उन्होंने कहा, ‘‘मुख्यमंत्री योगी में यदि रत्ती भर भी संवेदनशीलता होती तो वह वीसी को बर्खास्त करने की सिफारिश कर देते। यह सब घड़ियाली आंसू के अलावा कुछ और नहीं है।’
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