असीम अरुण ने अखिलेश के आरोपों को बताया बेबुनियाद, बोले- मेरे रिकॉर्ड करा सकते हैं चेक
भाजपा नेता असीम अरुण ने कहा कि भाजपा के साथ पिछले 5 सालों में मेरे संबंध बेबुनियाद है और अगर अखिलेश को शक है तो वो मेरे रिकॉर्ड चेक कर सकते हैं। उन्हें मेरे द्वारा की गई ऐसी कोई भी कार्रवाई नहीं मिलेगी।चुनाव से पहले वीआरएस लेकर राजनीति में आने का चलन आम हो गया है।
लखनऊ। उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव से ठीक पहले भाजपा में शामिल होने वाले पूर्व आईपीएस अधिकारी असीम अरुण ने समाजवादी पार्टी (सपा) प्रमुख अखिलेश यादव पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि सपा प्रमुख को किसी पर व्यक्तिगत टिप्पणी से बचना चाहिए। वीआरएस लेकर राजनीति में अपनी किस्मत आजमा रहे असीम अरुण को भाजपा ने कन्नौज से अपना प्रत्याशी बनाया है।
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हिन्दी न्यूज चैनल 'आज तक' की खबर के मुताबिक, असीम अरुण ने कहा कि भाजपा के साथ पिछले 5 सालों में मेरे संबंध बेबुनियाद है और अगर अखिलेश को शक है तो वो मेरे रिकॉर्ड चेक कर सकते हैं। उन्हें मेरे द्वारा की गई ऐसी कोई भी कार्रवाई नहीं मिलेगी, जिससे यह कहा जा सके कि मेरा झुकाव भाजपा की तरफ था।
इसी बीच उन्होंने कहा कि पिछली सरकारों से माफियाओं को छुड़ाने और उन पर गर्म रूख अपनाने को लेकर मेरे पास फोन आए हैं। हर तरह की चीज उत्तर प्रदेश पुलिस के अफसरों ने फेस की है। हालांकि अब मैं पुलिस विभाग को छोड़ चुका हूं और खुलकर बोल रहा हूं।
चुनाव से पहले वीआरएस लेकर राजनीति में आने का चलन आम हो गया है। असीम अरुण के बाद राजेश्वर सिंह ने भी वीआरएस ले लिया है और फिर भाजपा में शामिल हो गए। पूर्व प्रवर्तन निदेशालय अधिकारी राजेश्वर सिंह को भाजपा ने लखनऊ की सरोजनी नगर विधानसभा क्षेत्र से चुनावी मैदान में उतारा है। वहीं असीम अरुण को भाजपा ने कन्नौज से उतारा है।
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असीम अरुण का रिटायरमेंट अक्तूबर 2030 में होने वाला था लेकिन उन्होंने समय से पहले वीआरएस लेकर राजनीति में उतरने का निर्णय लिया। भाजपा में शामिल होने के बाद असीम अरुण ने कहा था कि मैं पूरी ईमानदारी से आपको बता सकता हूं कि पिछले पांच सालों में पुलिस के लिए बिना किसी दबाव के काम करने का इससे बेहतर अवसर कभी नहीं रहा। उत्तर प्रदेश की कानून व्यवस्था बहुत सुधरी है।
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