भारत का स्वतंत्र मिजाज ही इसकी खासियत, US को ये बात अब तक समझ नहीं आई, रूसी विदेश मंत्री ने कहा- दोस्ती की मजबूत नींव पर टिका है हमारा रिश्ता
रूसी विदेश मंत्री ने कहा कि भारत के साथ हमारे संबंधों को एक विशेषाधिकार प्राप्त रणनीतिक साझेदारी के रूप में जाना जाता है। उन्होंने यूक्रेन के आक्रमण पर मास्को के खिलाफ अमेरिका के नेतृत्व वाले पश्चिमी प्रतिबंधों का समर्थन नहीं करने के लिए भी भारत की सराहना की।
यूक्रेन जंग को लेकर अमेरिका और ब्रिटेन समेत पश्चिमी देशों ने रूस पर कड़े प्रतिबंध लगाए। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी कई अपीलों के बावजूद भारत ने रूस के साथ अपनी दोस्ती निभाते हुए उस पर न तो कोई प्रतिबंध लगाए व तेल आयात को भी चालू रखा। इसके साथ ही भारत ने रूसी तेल खरीद पर जयशंकर की यूरोपीय देशों को दो टूक बताया कि अपने नागरिकों के लिए सबसे अच्छा सौदा पाना उनका नैतिक कर्तव्य है। अब रूस के विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव ने दशकों पुराने भारत-रूस संबंधों की प्रशंसा की है। 1 सितंबर को मॉस्को स्टेट इंस्टीट्यूट ऑफ इंटरनेशनल रिलेशंस में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए लावरोव ने कहा कि भारत हमेशा हमारी (रूस) प्रमुख प्राथमिकताओं में से एक रहा है।
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रूसी विदेश मंत्री ने कहा कि भारत के साथ हमारे संबंधों को एक विशेषाधिकार प्राप्त रणनीतिक साझेदारी के रूप में जाना जाता है। उन्होंने यूक्रेन के आक्रमण पर मास्को के खिलाफ अमेरिका के नेतृत्व वाले पश्चिमी प्रतिबंधों का समर्थन नहीं करने के लिए भी भारत की सराहना की। रूसी विदेश मंत्री ने रूसी तेल खरीदने पर आलोचना को सार्वजनिक रूप से खारिज करने के लिए अपने भारतीय समकक्ष एस जयशंकर की प्रशंसा की। रूसी विदेश मंत्री ने साफ कहा कि भारत की विदेश नीति किसी की मोहताज नहीं है। इसका स्वतंत्र मिजाज ही इसकी खासियत है। अमेरिका को भले ही ये अब तक समझ नहीं आया हो। लेकिन रूस ये बात अच्छी तरह से जानता और समझता है।
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विदेश मंत्री लावरोव ने कहा कि भारत के साथ रूस का रिश्ता और मजबूती से विकसित हो रहा है। भारत की आजादी के संघर्ष के बाद से दोस्ती की मजबूत नींव पर टिका है। लावरोव ने कहा कि भारत हमेशा से हमारी प्रमुख प्राथमिकताओं में से एक रहा है। हमारे संबंधों को विशेष और विशेषाधिकार प्राप्त रणनीतिक साझेदारी के रूप में जाना जाता है। लावरोव ने भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर के बयान का हवाला देते हुए कहा कि मेरे सहयोगी विदेश मंत्री डॉ. जयशंकर सहित भारतीय नेताओं ने सार्वजनकि रूप से रूसी ऊर्जा खरदी पर प्रतिबंधों में उन्हें शामिल करने के किसी भी प्रयास को खारिज कर दिया है।
Russian Foreign Minister Sergey Lavrov speaks on the prospects of #RussiaIndia partnership ➡ https://t.co/6rNGy2CdFH#Lavrov: India has always been one of our key priorities. Our relations are characterized as the special and privileged strategic partnership pic.twitter.com/mdesadWdA4
— Russia in India 🇷🇺 (@RusEmbIndia) September 2, 2022
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