चीन के ‘बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव’ में शामिल होंगे 100 से अधिक देश, भारत करेगा बहिष्कार
चीन ने पहली बीआरआई बैठक 2017 में की थी। यह चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग की सबसे पसंदीदा परियोजना है। इस परियोजना का मकसद दुनियाभर में चीन के निवेश से बुनियादी परियोजनाओं का विकास कर चीन के प्रभुत्व का विस्तार करना है।
बीजिंग।चीन के ‘बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव’ (बीआरआई) की दूसरी बैठक में 100 से अधिक देशों के प्रतिनिधि शामिल होंगे। एक वरिष्ठ चीनी अधिकारी ने शनिवार को बताया कि इसमें करीब 40 देशों की सरकार के नेता भी शामिल हो रहे हैं। चीन ने पहली बीआरआई बैठक 2017 में की थी। यह चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग की सबसे पसंदीदा परियोजना है। इस परियोजना का मकसद दुनियाभर में चीन के निवेश से बुनियादी परियोजनाओं का विकास कर चीन के प्रभुत्व का विस्तार करना है।
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— Belt&Road Initiative (@OBORCHINA) March 29, 2019
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भारत ने पहली बीआरआई बैठक का बहिष्कार किया था। इसकी वजह चीन की चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारा परियोजना का विवादास्पद पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर से होकर गुजरना है।चीन में भारत के राजदूत विक्रम मिसरी ने हाल ही में चीन के सरकारी अखबार ग्लोबल टाइम्स को दिए एक साक्षात्कार में दूसरी बीआरआई बैठक का भी बहिष्कार करने की बात कही थी।चीन के स्टेट काउंसलर यांग जेइची ने सरकारी संवाद एजेंसी शिन्हुआ को दिए एक साक्षात्कार में कहा कि 40 देशों की सरकारों के नेताओं समेत 100 से अधिक देशों के प्रतिनिधि दूसरी बीआरआई बैठक में शामिल होंगे।
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