विज्ञान, तकनीकी तथा विशिष्ट ज्ञान के पाठ्यक्रम हिंदी में भी तैयार हों: कलराज मिश्र
उन्होंने राज्य के मोहनलाल सुखाड़िया विश्वविद्यालय द्वारा “एक दिन का मिशन” कार्यक्रम के अंतर्गत एक दिन में परीक्षा करवा कर उसी दिन परीक्षा परिणाम घोषित करने के निर्णय को अनुकरणीय बताते हुए इस संबंध में वृहद स्तर पर कार्य करने का आह्वान किया है।
मिश्र बुधवार को यहां राजभवन से मोहनलाल सुखाड़िया विश्वविद्यालय, उदयपुर द्वारा आयोजित राष्ट्रीय शिक्षा नीति की ऑनलाइन संगोष्ठी में संबोधित कर रहे थे। संगोष्ठी में 184 महाविद्यालयों के प्राचार्यों, संकाय अध्यक्ष, विभागाध्यक्ष तथा कुलपतियों ने भाग लिया। राज्यपाल ने विश्वविद्यालयों को नयी शिक्षा नीति की मंशा को समझते हुए अपने यहां आधुनिक समय की मांग के अनुरूप ई-पाठयक्रम क्षेत्रीय भाषाओं में भी विकसित करने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि शिक्षण संस्थान अपने यहां विद्यार्थियों के लिए डिजिटल लैब विकसित करें और राष्ट्रीय शैक्षिक टेक्नोलॉजी फोरम में अपनी अभी से भागीदारी सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि नयी शिक्षा नीति पूरी तरह से विद्यार्थी केन्द्रित है।मोहनलाल सुखाडिया विश्वविद्यालय, उदयपुर के द्वारा "नई शिक्षा नीति" पर आयोजित वर्चुअल वेबीनार में मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहा। इस वेबिनार में एक साथ 155 महाविद्यालय जुड़े।
— कलराज मिश्र (Kalraj Mishra) (@KalrajMishra) November 11, 2020
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इसमें स्पष्ट उल्लेख है कि न तो किसी को विद्यार्थी पर थोपा जायेगा और न ही किसी का विरोध किया जाएगा। राज्यपाल ने कहा कि नयी शिक्षा नीति में मातृमें अध्ययन की बात इसलिए महत्वपूर्ण है कि इसी से भारतीय भाषाओं को वास्तविक रूप में संरक्षित किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि शिक्षा में विद्यार्थी की स्वयं की रूचि महत्वपूर्ण होती है। नयी शिक्षा नीति इसी को ध्यान में रखते तैयार की गयी है। उन्होंने विश्वविद्यालय को उदयपुर सिरोही, प्रतापगढ राजसमन्द क्षेत्रों के जनजातीय समाज को मुख्य धारा से जोडे जाने के लिए भी अपने स्तर पर प्रयास करने को कहा।
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