Senthil Balaji Case: ED के पास गिरफ्तारी का अधिकार, मद्रास HC ने जांच एजेंसी के अधिकार को बरकरार रखा

Senthil Balaji
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अभिनय आकाश । Jul 14 2023 4:59PM

मद्रास उच्च न्यायालय ने अपने आदेश में कहा कि हालांकि बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका रिमांड आदेश के बाद भी विचारणीय है, लेकिन डीएमके नेता को रिहा नहीं किया जा सकता क्योंकि उनकी गिरफ्तारी कानूनी थी।

सेंथिल बालाजी को एक और झटका लगा है। मद्रास उच्च न्यायालय ने शुक्रवार को डीएमके नेता को हिरासत में लेने के प्रवर्तन निदेशालय के अधिकार को बरकरार रखा। अदालत का फैसला सेंथिल बालाजी की पत्नी मेगाला द्वारा दायर बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका की सुनवाई के दौरान आया। याचिका में दावा किया गया कि प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा तमिलनाडु के पूर्व बिजली मंत्री की गिरफ्तारी अवैध थी।

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मद्रास उच्च न्यायालय ने अपने आदेश में कहा कि हालांकि बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका रिमांड आदेश के बाद भी विचारणीय है, लेकिन डीएमके नेता को रिहा नहीं किया जा सकता क्योंकि उनकी गिरफ्तारी कानूनी थी। डीएमके नेता की रिहाई पर जस्टिस निशा बानू और डी भरत चक्रवर्ती की दो-न्यायाधीशों की पीठ के मतभेद के बाद मामला जस्टिस सीवी कार्तिकेयन के समक्ष रखा गया था। दो न्यायाधीशों की पीठ ने इस महीने की शुरुआत में खंडित फैसला सुनाया था।

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प्रवर्तन निदेशालय ने जून में मनी लॉन्ड्रिंग मामले में वी सेंथिल बालाजी से जुड़े परिसरों की तलाशी के बाद उन्हें गिरफ्तार किया था। सेंथिल बालाजी को नौकरी के बदले नकदी घोटाले में धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) के तहत लंबी पूछताछ के बाद गिरफ्तार किया गया था। इसके बाद, तमिलनाडु के राज्यपाल आरएन रवि ने वी सेंथिल बालाजी को राज्य मंत्रिमंडल से बर्खास्त कर दिया।

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