मध्य प्रदेश में १५ फरवरी के बाद हो सकती है बारिश, पूर्वी और दक्षिण पूर्वी जिलों में बारिश की संभावना

Rainfall may occur in Madhya Pradesh
दिनेश शुक्ल । Feb 14 2021 10:20AM

इस सप्ताह बारिश के लिए मौसम अनुकूल बन रहा है। 16 से 18 फरवरी के बीच मध्य प्रदेश के पूर्वी और दक्षिण पूर्वी जिलों में हल्की से मध्यम वर्षा देखने को मिल सकती है। 18 और 19 फरवरी को यह वर्षा की गतिविधियां दक्षिणी पश्चिमी मध्य प्रदेश की ओर आ जाएंगी।

भोपाल। मध्य प्रदेश में मौसम प्रणाली सक्रिय नहीं होने की वजह से राज्य में मौसम शुष्क बना हुआ है। वही आसमान साफ रहने के कारण धूप में तल्खी महसूस होने लगी है। वर्तमान में हवा का रुख उत्तर-पश्चिमी और उत्तर-पूर्वी हो रहा है। उत्तर भारत की तरफ से आने वाली सर्द हवाओं के कारण दिन का तापमान अधिक नहीं बढ़ पा रहा है। साथ ही रात में ठंड बरकरार है। मौसम विभाग के मुताबिक दो-तीन दिन तक मौसम का मिजाज इसी तरह बना रहेगा। इसके बाद 15 फरवरी से मौसम एक बार फिर बदलेगा और प्रदेश के कुछ स्थानों पर बादल छाने के साथ बारिश होने की भी संभावना है।

 

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वरिष्ठ मौसम वैज्ञानिक अजय शुक्ल ने बताया कि पिछले कई दिनों से मध्य प्रदेश का मौसम शुष्क बना रहा है। इस समय मध्य प्रदेश के अधिकांश भागों में दिन के तापमान सामान्य से अधिक बने हुए हैं तथा रात के तापमान भी सामान्य के आसपास हैं। लेकिन इस सप्ताह सूखे का यह सिलसिला खत्म होने वाला है। इस सप्ताह बारिश के लिए मौसम अनुकूल बन रहा है। 16 से 18 फरवरी के बीच मध्य प्रदेश के पूर्वी और दक्षिण पूर्वी जिलों में हल्की से मध्यम वर्षा देखने को मिल सकती है। 18 और 19 फरवरी को यह वर्षा की गतिविधियां दक्षिणी पश्चिमी मध्य प्रदेश की ओर आ जाएंगी।

 

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इस दौरान प्रदेश के भोपाल, होशंगाबाद, इंदौर, उज्जैन, जबलपुर, शहडोल संभाग के जिलों में कहीं-कहीं गरज-चमक के साथ बौछारें पडऩे की भी संभावना है। मौसम विभाग के मुताबिक इस बार जनवरी के महीने में मध्य प्रदेश में बरसात मिली जरूर लेकिन फरवरी में अब तक राज्य में बारिश नहीं हुई है और मौसम लगभग शुष्क ही बना हुआ है। 1 जनवरी से 11 फरवरी के बीच पश्चिमी मध्य प्रदेश में जितनी बारिश औसतन होती है, उससे 52 प्रतिशत कम तथा पूर्व मध्य प्रदेश में सामान्य से 93 प्रतिशत कम वर्षा हुई है।

 

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जबकि फरवरी के महीने में आमतौर पर मध्य प्रदेश में वर्षा की गतिविधियां काफी कम होती हैं। इस बारिश को हम बेमौसम बरसात मान सकते हैं, लेकिन इससे जनवरी से लेकर अब तक बारिश में जो कमी रह गई है उसमें सुधार आ सकता है। मध्य प्रदेश में प्री-मॉनसून वर्षा मार्च के महीने में शुरू होती है जब दिन में तापमान बहुत अधिक बढ़ जाता है। इस बेमौसम वर्षा के साथ-साथ मध्य प्रदेश के दक्षिणी पूर्वी जिलों में हो सकता है एक-दो स्थानों पर ओलावृष्टि भी हो जाए।

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