खड़गे ने PM Modi को लिखा पत्र, राहुल गांधी के ख़िलाफ दिए जा रहे बयान पर लगाम लगाने की मांग की
खड़गे ने आगे लिखा कि मुझे दुःख के साथ कहना पड़ता है कि भारतीय जनता पार्टी और आपके सहयोगी दलों के नेताओं ने जिस हिंसक भाषा का प्रयोग किया है, वह भविष्य के लिए घातक है।
कांग्रेस सांसद और लोकसभा नेता राहुल गांधी के लिए बीजेपी नेताओं के बयानों पर कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने पीएम नरेंद्र मोदी को पत्र लिखा है। अपने पत्र में उन्होंने लिखा कि मैं आपसे आग्रह करता हूं कि अनुशासन और मर्यादा के जरिए ऐसे नेताओं पर लगाम लगाएं। ऐसे बयानों पर सख्त कानूनी कार्रवाई होनी चाहिए ताकि भारत की राजनीति का पतन होने से रोका जा सके। मोदी को जन्मदिन की बधाई देते हुए उन्होंने लिखा कि आप अवगत होंगे कि लोक सभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी के ख़िलाफ़ बेहद आपत्तिजनक, हिंसक और अशिष्ट बयानों का सिलसिला चल रहा है।
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खड़गे ने आगे लिखा कि मुझे दुःख के साथ कहना पड़ता है कि भारतीय जनता पार्टी और आपके सहयोगी दलों के नेताओं ने जिस हिंसक भाषा का प्रयोग किया है, वह भविष्य के लिए घातक है। विश्व हैरान है कि केंद्र सरकार में रेल राज्य मंत्री, भाजपा शासित उत्तर प्रदेश के मंत्री, लोक सभा में प्रतिपक्ष के नेता को "नंबर एक आतंकवादी" कह रहे हैं। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र में आपकी सरकार में सहयोगी दल का एक विधायक, नेता प्रतिपक्ष की "जुबान काट कर लाने वाले को 11 लाख रुपए का इनाम" देने की घोषणा कर रहे हैं। दिल्ली में एक भाजपा नेता एवं पूर्व विधायक, उनका "हश्र दादी जैसा" करने की धमकी दे रहे हैं।
उन्होंने लिखा कि भारतीय संस्कृति अहिंसा, सद्भाव और प्रेम के लिए विश्व भर में जानी जाती है। इन बिंदुओं को हमारे नायकों ने राजनीति में मानक के रूप में स्थापित किया। गांधीजी ने अंग्रेजी राज में ही इन मानकों को राजनीति का अहम हिस्सा बना दिया था। आजादी के बाद संसदीय परिधि में सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच सम्मानजनक अहसमतियों का एक लंबा इतिहास रहा है। इसने भारतीय लोकतंत्र की प्रतिष्ठा को बढ़ाने का काम किया।
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इसके साथ ही उन्होंने कहा कि कांग्रेस के करोड़ों कार्यकर्ता और नेता इस बात को लेकर बहुत उद्वेलित और चिंतित हैं। क्योंकि ऐसी घृणा फैलाने वाली शक्तियों के चलते राष्ट्रपिता महात्मा गांधी, इंदिरा गांधी, और राजीव गांधी को शहादत देनी पड़ी है। सत्ताधारी दल का यह राजनीतिक व्यवहार लोकतांत्रिक इतिहास का अशिष्टतम उदाहरण है। मैं आपसे अनुरोध और अपेक्षा करता हूँ कि आप कृपया अपने नेताओं पर अनुशासन और मर्यादा का अंकुश लगायें। उचित आचरण का निर्देश दें। ऐसे बयानों के लिए कड़ी कानूनी कार्रवाई की जानी चाहिए ताकि भारतीय राजनीति को पतनशील बनने से रोका जा सके। कोई अनहोनी न हो। मैं भरोसा करता हूं कि आप इन नेताओं को हिंसक बयानों को तत्काल रोकने के बारे में अपेक्षित कार्यवाही करेंगे।
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