स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव हुए तो भाजपा आसानी से केंद्र की सत्ता में वापस नहीं आने वाली : मायावती
मायावती ने कांग्रेस, भाजपा और इनके अन्य सभी सहयोगी दलों पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा, ‘‘आजादी के बाद केंद्र और राज्यों में सत्ता ज्यादातर कांग्रेस के हाथों में रहीं, लेकिन अधिकांश मामलों में गलत नीतियों के कारण उसे केंद्र तथा राज्यों की सत्ता से बाहर होना पड़ा।’’
गाजियाबाद। बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की अध्यक्ष एवं उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने रविवार को इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) को लेकर संदेह जाहिर करते हुए दावा किया कि अगर स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव हुए तो इस बार भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) केंद्र की सत्ता में आसानी से वापस नहीं आने वाली। बसपा प्रमुख ने रविवार को अमरोहा में पार्टी उम्मीदवार मुजाहिद हुसैन और गाजियाबाद में नंदकिशोर पुंडीर के समर्थन में अलग-अलग जनसभाओं को संबोधित किया। बसपा प्रमुख ने अमरोहा में भाजपा पर मुसलमानों के उत्पीड़न और गाजियाबाद में पश्चिमी उप्र में क्षत्रियों को टिकट न देकर उनकी उपेक्षा का आरोप लगाया।
मायावती ने कांग्रेस, भाजपा और इनके अन्य सभी सहयोगी दलों पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा, ‘‘आजादी के बाद केंद्र और राज्यों में सत्ता ज्यादातर कांग्रेस के हाथों में रहीं, लेकिन अधिकांश मामलों में गलत नीतियों के कारण उसे केंद्र तथा राज्यों की सत्ता से बाहर होना पड़ा।’’ भाजपा पर कांग्रेस की राह पर चलने का आरोप लगाते हुए बसपा प्रमुख ने कहा, ‘‘ पिछले कई वर्षों से भाजपा और उनके सहयोगी दल केंद्र तथा राज्यों की सत्ता में काबिज हैं लेकिन इनकी जातिवादी, पूंजीवादी, संकीर्ण, सांप्रदायिक, द्वेष पूर्ण नीतियों, कार्यप्रणाली और इनकी कथनी तथा करनी में अंतर होने के कारण लगता है कि इस बार भाजपा केंद्र की सत्ता में आसानी से वापस नहीं आने वाली।’’
उन्होंने कहा, ‘‘ बशर्ते अगर चुनाव इस बार स्वतंत्र और निष्पक्ष हुए और ईवीएम में गड़बड़ी नहीं की गई।’’ मायावती ने कहा, ‘‘ वैसे भी इस बार चुनाव में इनकी (भाजपा) पुरानी और नयी नाटकबाजी, जुमलेबाजी, गारंटी आदि काम नहीं आने वाले क्योंकि अब देश की जनता इन्हें समझ चुकी है।’’ उन्होंने आरोप लगाया, ‘‘ इनकी (भाजपा) पार्टी ने देश के गरीब, कमजोर तबकों व अन्य मेहनतकश लोग जिनसे उन्होंने अच्छे दिन दिखाने के वादे किये, उसका एक चौथाई कार्य नहीं किया।’’ पूर्व मुख्यमंत्री ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा, ‘‘ इनका (भाजपा) ज्यादातर समय और ताकत बड़े पूंजीपतियों, धन्नासेठों को धनवान बनाने और उन्हें छूट देने तथा बचाने में लगा।’’
मायावती ने दावा किया कि अब ऐसा लगता है कि कांग्रेस पार्टी की तरह भाजपा ने केंद्र की अधिकांश जांच एजेंसियों का ‘‘राजनीतिकरण’’ कर दिया है। गाजियाबाद में बसपा उम्मीदवार नंदकिशोर पुंडीर के समर्थन में आयोजित जनसभा में मायावती ने भाजपा पर पश्चिमी उप्र में क्षत्रिय समाज की उपेक्षा का आरोप लगाते हुए कहा कि पश्चिमी उप्र में उच्च जाति के लोग काफी तादाद में रहते हैं लेकिन दुख की बात यह है कि भाजपा व अन्य पार्टियां, जो अपने को क्षत्रिय समाज की हिमायती समझती हैं, उन्होंने इस चुनाव में क्षत्रिय समाज की उपेक्षा की है। मायावती ने कहा कि बसपा ने पश्चिमी उप्र में अन्य समाज के साथ ही क्षत्रिय समाज को पूरा पूरा आदर सम्मान दिया है और टिकट बंटवारे में उनको उचित भागीदारी दी है।
गाजियाबाद के मौजूदा सांसद व केंद्रीय मंत्री जनरल (सेवानिवृत्त) वीके सिंह को टिकट न देकर भाजपा ने उप्र सरकार के पूर्व मंत्री अतुल गर्ग को टिकट दिया है। सिंह, क्षत्रिय समाज से आते हैं। मायावती ने अमरोहा से कांग्रेस के प्रत्याशी एवं 2019 में बसपा के टिकट पर जीते दानिश अली का नाम लिए बिना कहा, ‘‘2019 में बसपा ने अमरोहा सीट से जिसे टिकट दिया, आप लोगों ने उसे जिताकर भेजा। उस व्यक्ति ने सांसद बनने के बाद न ही पार्टी और न ही क्षेत्र की जनता का मान-सम्मान का ध्यान रखा।
उन्होंने जनता और पार्टी के साथ विश्वासघात किया।’’ बसपा के टिकट पर अमरोहा से जीतने वाले दानिश अली को इस साल जनवरी में पार्टी विरोधी गतिविधियों के लिए पार्टी से निष्कासित कर दिया गया था। अली बाद में कांग्रेस में शामिल हो गए और कांग्रेस पार्टी के टिकट पर अमरोहा से चुनाव लड़ रहे हैं। मायावती ने कहा, ‘‘ हमने मजबूरी में उनके स्थान पर दूसरे व्यक्ति को टिकट दिया है।’’ बसपा प्रमुख ने कहा, ‘‘ मुस्लिम समाज के एक व्यक्ति ने विश्वासघात किया, लेकिन हमने अमरोहा क्षेत्र के मुस्लिम समाज को सजा नहीं दी बल्कि हमने मुस्लिम समाज से चौधरी मुजाहिद हुसैन को टिकट दिया, जिनको जिताने में आप जी जान से लगे हैं।’’
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बसपा प्रमुख ने राज्य में अपने नेतृत्व की पूर्ववर्ती चार बार की सरकार में अल्पसंख्यकों, किसानों, गरीबों, दलितों और आदिवासियों के हक में हुए कार्यों का उल्लेख करते हुए कहा कि देश का किसान वर्ग भी वर्तमान भाजपा सरकार में शुरू से अपनी समस्याओं को लेकर दुखी व परेशान हैं। मायावती ने कहा, अगर केंद्र में हमारी पार्टी की सरकार बनाने का मौका मिलता है तो हमारी पार्टी केवल हवा हवाई व कागजी कार्य नहीं करेगी बल्कि उत्तर प्रदेश की तरह की जमीनी हकीकत में ठोस कार्य करके दिखाएगी।
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अमरोहा में वर्ष 2019 लोकसभा चुनाव में बसपा से चुनाव जीते दानिश अली को विपक्षी गठबंधन ‘इंडिया’ के घटक दल कांग्रेस ने अपना उम्मीदवार बनाया है। दानिश का मुकाबला बसपा के मुजाहिद हुसैन और भाजपा के पूर्व सांसद कंवर सिंह तंवर से है। गाजियाबाद में भाजपा के अतुल गर्ग का मुकाबला कांग्रेस की डॉली शर्मा और बसपा के नंदकिशोर पुंडीर से है। गाजियाबाद और अमरोहा में 26 अप्रैल को मतदान होगा।
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