भाजपा ने अलग गोरखालैंड मुद्दे पर अपनी राय स्पष्ट की
भाजपा ने कहा है कि वह अलग गोरखालैंड राज्य की मांग का समर्थन नहीं करती है, लेकिन उसने क्षेत्र की सांस्कृतिक और राजनैतिक चिंताओं का निवारण करने का आह्वान किया।
भाजपा ने कहा है कि वह अलग गोरखालैंड राज्य की अपनी सहयोगी गोरखा जनमुक्ति मोर्चा (जीजेएम) की मांग का समर्थन नहीं करती है, लेकिन उसने क्षेत्र की सांस्कृतिक और राजनैतिक चिंताओं का निवारण करने का आह्वान किया। जीजेएम दार्जिलिंग और उत्तरी बंगाल के कुछ हिस्सों को मिलाकर अलग गोरखालैंड बनाने की मांग कर रही है। दो दिन की पुडुचेरी यात्रा के बाद मंगलवार शाम यहां पहुंचे भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने पार्टी महासचिव और बंगाल के प्रभारी कैलाश विजयवर्गीय समेत पार्टी नेताओं से मुलाकात की।
भाजपा के एक नेता ने हालांकि इसे तवज्जो नहीं दी। उन्होंने कहा कि शाह नियमित रूप से पार्टी नेताओं से मिलते हैं और इसे इस मुद्दे से नहीं जोड़ा जाना चाहिये। इससे पहले दिन में विजयवर्गीय ने संवाददाताओं से कहा कि उनकी पार्टी अलग राज्य की मांग का समर्थन नहीं करती है और गोरखा क्षेत्रीय प्रशासन को कमजोर करके संकट पैदा करने के लिये राज्य की ममता बनर्जी सरकार को जिम्मेदार ठहराया। उन्होंने कहा कि क्षेत्र के लोगों की सांस्कृतिक और राजनैतिक चिंताओं का निवारण किये जाने की आवश्यकता है और भाजपा जीटीए को मजबूत बनाने और अन्य कदम उठाए जाने के पक्ष में है।
पार्टी सूत्रों ने बताया कि अलग गोरखालैंड राज्य इसके स्थान की वजह से सुरक्षा चिंता पैदा करेगा क्योंकि इसकी सीमा नेपाल से लगी है और यह आर्थिक रूप से भी व्यावहारिक नहीं है। उन्होंने कहा कि प्रतिनिधिमंडल गृह मंत्री राजनाथ सिंह से मिलेगा और उनसे क्षेत्र के लोगों की चिंताओं का निराकरण करने के लिए कदम उठाने को कहेगा।
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