अमेरिकी नागरिकों से धोखाधड़ी के मामले में दो भारतीयों को 27 महीने की सजा

Two Indians

अमेरिका की एक अदालत ने दो भारतीयों को अमेरिकी नागरिकों के साथ धोखाधड़ी करने के मामले में 27 माह कैद की सजा सुनाई है। उन्हें अमेरिकी नागरिकों से ‘वायर’ धोखाधड़ी के जरिये 6,00,000 डॉलर से अधिक रकम लेने का दोषी ठहराया गया है।

वाशिंगटन। अमेरिका की एक अदालत ने दो भारतीयों को अमेरिकी नागरिकों के साथ धोखाधड़ी करने के मामले में 27 माह कैद की सजा सुनाई है। उन्हें अमेरिकी नागरिकों से ‘वायर’ धोखाधड़ी के जरिये 6,00,000 डॉलर से अधिक रकम लेने का दोषी ठहराया गया है। न्यू जर्सी की एक संघीय अदालत के जिला न्यायाधीश जोसेफ रोड्रिगेज़ ने जीशान खान (22) और माज़ अहमद शम्सी (24) को मंगलवार को 27 माह की सजा सुनाई। दोनों को पहले ही ‘वायर’ धोखाधड़ी के मामले में दोषी ठहराया गया था। उन्होंने अपना जुर्म स्वीकार कर लिया था।

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कार्यवाहक अमेरिकी अटॉर्नी रेचेल ए होनिग ने कहा कि शम्सी और खान पर देश भर में 19 लोगों से धोखाधड़ी से ‘वायर ट्रांसफर’ के जरिए 618,000 अमेरिकी डॉलर प्राप्त करने के आरोप तय किए गए थे। ‘वायर ट्रांसफर’, बैंक ट्रांसफर या क्रेडिट ट्रांसफर, एक व्यक्ति या संस्था से दूसरे व्यक्ति को ‘इलेक्ट्रॉनिक फंड ट्रांसफर’ करने का एक तरीका है। अदालत के दस्तावेजों के अनुसार, भारत में स्थित कुछ कॉल सेंटर का उपयोग कर पीड़ितों को रोबोकॉल की गईं।

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फोन करने वाले स्वयं को सामाजिक सुरक्षा प्रशासन, एफबीआई या औषधि प्रवर्तन प्रशासन की एजेंसियों के अधिकारी बताते थे और पीड़ित को अपनी बात न मानने पर कानूनी या वित्तीय मुकदमों में फंसाने की धमकी देते थे। कभी वे पीड़ित को अन्य प्रौद्योगिकी कंपनी के ‘अधिकारी’ से बात करने के लिए कहते और वह ‘अधिकारी’ पीड़ित के ‘पर्सनल कंप्यूटर’ तक पहुंच हासिल कर उसके बैंक खाते का ब्यौरा ले लेता था।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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