JEE Exam Tips: देना है जेईई एग्जाम तो अंतिम एक महीने में ऐसे करें रिवीजन
इंजीनियरिंग की एंट्रेंस परीक्षा पास करने के लिए छात्र काफी समय पहले से ही इसकी तैयारी शुरू कर देते है। इस परीक्षा को पास करने के लिए छात्रों को कड़ी मेहनत करनी पड़ती है। इसके बाद ही कुछ चुनिंदा छात्रों का जेईई परीक्षा क्लीयर कर टॉप कॉलेज में एडमिशन लेने का सपना पूरा होता है।
इंजीनियरिंग विषय में बैचलर डिग्री हासिल करने के लिए 12वीं कक्षा के बाद छात्रों को जेईई परीक्षा देनी होती है। इस परीक्षा का आयोजन हर वर्ष नेशनल टेस्टिंग एजेंसी करती है। इस वर्ष परीक्षा का आयोजन आईआईटी बॉम्बे द्वारा किया गया है। जेईई मेन परीक्षा को लेकर आमतौर पर छात्रों को काफी टेंशन होती है।
ये परीक्षा उन चुनिंदा परीक्षाओं में शामिल है जो क्लीयर करना हर छात्र के लिए आसान नहीं होता है। जेईई परीक्षा के लिए वैसे तो काफी लंबे समय से ही छात्र तैयारी शुरू कर देते है, मगर परीक्षा से सिर्फ एक महीने पहले का समय काफी अहम होता है। इस समय में ये देखना जरूरी होता है कि परीक्षा की तैयारी करने के दौरान रिवीजन करने से कोई टॉपिक ना रह जाए।
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परीक्षा देने जाने से पूर्व इन बातों का रखें ख्याल
अगर आपको भी परीक्षा देनी है तो इसके लिए अंतिम एक महीने में परीक्षा की तैयारी करने और रिवीजन करने के लिए खास रणनीति अपनानी पड़ती है। इन टिप्स के जरिए छात्रों को तैयारी करने में मदद मिलेगी।
- जेईई परीक्षा की तैयारी करते हुए एकाग्र रहते हुए पढ़ाई करें। परीक्षा होने से एक महीने पूर्व के समय में छात्रों के लिए जरूरी है कि वो अपना नजरिया सकारात्मक रखें। खुद को शांत रखते हुए तैयारी करने से सफलता मिलना आसान होता है।
- मॉक टेस्ट और पूर्व वर्षों के पेपर जरुर सॉल्व करें क्योंकि ये टाइम मैनेजमेंट में मददगार होता है। इससे समय सीमा तय करने में भी मदद मिलती है।
- परीक्षा देने से पहले अधिक से अधिक सैंपल पेपर सॉल्व करें। सैंपल पेपर के जरिए छात्र एग्जाम पैटर्न को भी समझ सकते है।
- जेईई परीक्षा में सफलता पाने के लिए कम समय में अधिक सवाल सही तरीके से सॉल्व करने की कोशिश करें। हालांकि ध्यान रखना जरूरी है कि स्पीड में इजाफा करने के लिए गलतियां ना करें क्योंकि ऐसा करना भारी पड़ सकता है।
- लगातार हो रही पढ़ाई के दौरान बीच में समय समय पर ब्रेक भी लें। ऐसा करने से दिमाग फ्रेश होता है और अधिक एक्टिव होकर काम करता है। थोड़े अंतराल पर ब्रेक लेने से दिमाग पढ़ते हुए बोर नहीं होता है।
- सैंपल पेपर में हुई गलतियों के जरिए अपने परफॉर्मेंस का विश्लेषण भी करें। ये कदम अच्छे अंक लाने में मददगार साबित होगा। कमजोरियों पर काबू पाने के लिए ये तरीका लाभदायक हो सकता है।
- हर विषय पर को अहमियत दें और सभी को समय दें। किसी भी विषय को नजरअंदाज ना करें।
- तैयारी करने के साथ रिवीजन के समय भी एनसीईआरटी पुस्तकों की मदद लें। ये ही जेईई मेन और एडवांस का आधार होती है।
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