सिद्धार्थ खोसला ने कहा रफी के पुराने गाने मेरे पसंदीदा हैं
भारतीय-अमेरिकी संगीतकार सिद्धार्थ खोसला ने संगीत में रूची पैदा करने का श्रेय मोहम्मद रफी और किशोर कुमार के पुराने गानों को दिया है। वह अमेरिकी टीवी पर प्रसारित होने वाले कामयाब नाटक ‘दिस इज अस’ के संगीतकार है।
नयी दिल्ली। भारतीय-अमेरिकी संगीतकार सिद्धार्थ खोसला ने संगीत में रूची पैदा करने का श्रेय मोहम्मद रफी और किशोर कुमार के पुराने गानों को दिया है। वह अमेरिकी टीवी पर प्रसारित होने वाले कामयाब नाटक ‘दिस इज अस’ के संगीतकार है। ‘दिस इज़ अस’ एनबीसी पर प्रसारित होने वाला एक नाटक है जिसकी कहानी एक परिवार के इर्द-गिर्द घूमती थी। यह अमेरिकी टीवी पर सबसे कामयाब नाटकों में से एक था। खोसला ने कहानी के कुछ अहम क्षणों को अपनी धुनों के जरिए रोचक बनाया।
अमेरिका में दूसरी पीढ़ी के प्रवासी खोसला ने कहा कि जब 1976 में उनके माता-पिता नई जिंदगी शुरू करने अमेरिका गए थे तो अपने साथ अपनी सारी कैसेटें भी ले गए थे और वह बॉलीवुड के पुराने गाने सुनते-सुनते बढ़े हुए हैं। खोसला ने लॉस एंजिलिस से फोन पर कहा, ''मैं रफी, किशोर, लता मंगेश्कर और मन्ना डे का बहुत बड़ा प्रशंसक हूं। मैं एसडी बर्मन और आरडी बर्मन द्वारा संगीत दिए गए गानों को सुन-सुन कर बढ़ा हुआ हूं। रफी और किशोर के पुराने गाने मेरे पसंदीदा हैं। ये गायक वे लोग हैं जिन्होंने मुझे गाना सिखाया।''
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