यूक्रेन युद्ध पर भारत के स्वतंत्र रूख, सीमा समस्या से दृढ़ता से निपटने को विश्व ने सराहा है: जयशंकर
विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने शनिवार को कहा कि यूक्रेन युद्ध पर भारत के स्वतंत्र रुख और समझौतों का उल्लंघन करते हुए चीन द्वारा सीमा (वास्तविक नियंत्रण रेखा) के पास ‘सैनिकों की तैनाती’’ किये जाने के बाद उसके(भारत के) दृढ़ रुख की पूरे विश्व ने सराहना की है।
अहमदाबाद। विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने शनिवार को कहा कि यूक्रेन युद्ध पर भारत के स्वतंत्र रुख और समझौतों का उल्लंघन करते हुए चीन द्वारा सीमा (वास्तविक नियंत्रण रेखा) के पास ‘सैनिकों की तैनाती’’ किये जाने के बाद उसके(भारत के) दृढ़ रुख की पूरे विश्व ने सराहना की है। ‘भारतीय विदेश नीति : परिवर्तनकारी दशक’ विषय पर भारतीय प्रबंधन संस्थान (आईआईएम) अहमदाबाद में व्याख्यान देते हुए उन्होंने कहा कि यूक्रेन युद्ध पर स्वतंत्र रुख अपना कर भारत ने कई देशों की भावनाओं को व्यक्त किया है।
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उन्होंने कहा कि इस तरह की परिस्थितियों में देशों पर कोई एक पक्ष चुनने का भारी दबाव रहता है। उन्होंने कहा, ‘‘यह कि हमने स्वतंत्र रुख अपनाया है, यह कि हमने हमारे लोगों के कल्याण के दृष्टिकोण से जिन फैसलों को सही समझा, वही फैसला लिया है, इस बात की पूरी दुनिया ने सराहना की है।’’
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जयशंकर ने कहा, ‘‘दो साल पहले महामारी के बीच में चीन ने समझौते का उल्लंघन करते हुए हमारी सीमा के करीब सैनिक तैनात कर दिये। हम अपने रुख पर कायम रहे और दो साल से हम उसपर काम कर रहे हैं, कोई नरमी नहीं बरत रहे हैं और मुझे लगता है कि विश्व ने इसकी (हमारे रुख की) सराहना की है।’’ उन्होंने कहा कि वैश्विक समुदाय ने देखा कि भारत ‘‘जमीनी स्तर पर मजबूत और अपने हितों को सामने रखने में मुखर भी हो सकता है।
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