घर की छत पर मिला पत्थर, गुलेल और पेट्रोल बम, जानें कौन है ताहिर हुसैन
आज दिल्ली के खजूरी इलाके में स्थित आप पार्षद ताहिर हुसैन के छत पर पत्थर, गुलेल और पेट्रोल बम भी देखने को मिले हैं।
दिल्ली की हिंसा में अब तक 35 लोगों की जान जा चुकी है और 200 से ज्यादा लोग घायल हो चुके हैं। इंटीलेंज ब्यूरो (आईबी) के कर्मचारी अंकित शर्मा ने भी दिल्ली की हिंसा में अपने प्रा गंवा दिए। अंकित शर्मा के परिवार वालों ने अपने बेटे की मौत के लिए आम आदमी पार्टी (आप) के पार्षद हाजी ताहिर हुसैन पर गंभीर आरोप लगाए। जिसके बाद से ये नाम लगातार सुर्खियों में बना रहा। आज दिल्ली के खजूरी इलाके में स्थित आप पार्षद ताहिर हुसैन के छत पर पत्थर, गुलेल और पेट्रोल बम भी देखने को मिले हैं। यह सब तब वहां मिला जब यह आरोप लगाए जा रहे हैं कि यहां से भी पत्थरबाजी हुई है।
वहीं भाजपा के आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने एक ट्वीट में ताहिर पर आरोप लगाए हैं। उन्होंने एक वीडियो ट्वीट करते हुए लिखा, स्थानीय लोग लगातार आप पार्षद ताहिर हुसैन के वीडियो सबूत भेजकर ये बता रहे हैं कि उन्होंने हिंदुओं के खिलाफ हिंसा भड़काने का काम किया। यह दिखाता है कि क्यों केजरीवाल इस मुद्दे पर इतने शांत हैं। आम आदमी पार्टी पर सवाल उठे तो जवाब देने सांसद संजय सिंह मीडिया के सामने आए। संजय सिंह ने कहा है कि पहले दिन से आप कह रही है कि कोई भी व्यक्ति हो, किसी भी पार्टी या धर्म से हो, अगर दोषी है तो उनके खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए।
Sanjay Singh, AAP: Tahir Hussain has already given his statement in which he said that he gave all details to police&media about mob entering his house during the violence. He had asked police for protection. Police came 8 hours late&rescued him&his family from his house. (2/2) https://t.co/AZns0p2AtW
— ANI (@ANI) February 27, 2020
संजय सिंह ने कहा, ताहिर हुसैन पहले ही अपना बयान दे चुके हैं जिसमें उन्होंने कहा कि हिंसा के दौरान उनके घर में घुसने के बारे में उन्होंने पुलिस और मीडिया को सारी जानकारी दी। उसने पुलिस से सुरक्षा मांगी थी। पुलिस 8 घंटे देरी से आई और उसे और उसके परिवार को उसके घर से बचाया। तमाम उठते सवालों के बीच आपको बताते हैं कि आखिर कौन हैं आप पार्षद ताहिर हुसैन
Locals continue to send video evidence of AAP corporator Mohammed Tahir Hussain’ role in unleashing violence against Hindus...
— Amit Malviya (@amitmalviya) February 26, 2020
This explains Kejriwal’s studied silence. He neither called his MLAs for a meeting nor did he ask maulvis, who his govt pays, to appeal for peace... pic.twitter.com/gB157ioriX
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