ममता सरकार पर स्मृति ईरानी का हमला, बोलीं- नौकरी देने की बदले लाठीचार्ज करवा रही हैं CM
स्मृति ईरानी ने कहा कि पुलिस को देश के कानून और संविधान के प्रति वफादारी रखनी चाहिए। उन्होंने कहा कि अगर सीएम की ओर से कोई गलत काम और अन्याय नहीं था तो आधी रात को पुलिस क्यों आई? उन्होंने सवाल किया कि सीएम नौकरी क्यों नहीं दे रहे हैं और इसके बदले लाठीचार्ज कर रहे हैं?
पश्चिम बंगाल में प्राथमिक शिक्षकों की भर्ती में कथित अनियमितताओं को लेकर राजनीतिक बवाल मचा हुआ है। इन सबके बीच अनशन कर रहे अभ्यर्थियों को गुरुवार रात पुलिस ने जबरन हटाया था। इसके बाद भाजपा ममता बनर्जी की सरकार पर हमलावर हो गई है। केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर जबरदस्त तरीके से निशाना साधा। उन्होंने साफ शब्दों में कहा कि रात के अंधेरे में चोरी-छिपे पुलिस को भेजकर अनशन कर रहे टेट परीक्षार्थियों को जबरदस्ती घसीट कर हटाया जाना पूरी तरह से अन्याय है। राज्य सरकार को इसका जवाब देना होगा। उन्होंने साफ तौर पर कहा कि शांतिपूर्ण आंदोलन पर इस तरह की हरकत से शर्म आती है। इसके साथ ही उन्होंने बंगाल पुलिस को पर भी सवाल उठाए।
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स्मृति ईरानी ने कहा कि पुलिस को देश के कानून और संविधान के प्रति वफादारी रखनी चाहिए। उन्होंने कहा कि अगर सीएम की ओर से कोई गलत काम और अन्याय नहीं था तो आधी रात को पुलिस क्यों आई? उन्होंने सवाल किया कि सीएम नौकरी क्यों नहीं दे रहे हैं और इसके बदले लाठीचार्ज कर रहे हैं? केंद्रीय मंत्री ने कहा कि प्रदर्शनकारियों के साथ-साथ कुछ आम लोगों को क्यों गिरफ्तार किया गया? यह सरकार के खिलाफ लोगों का आंदोलन है, इसलिए सीएम की कार्रवाई किसी राजनीतिक संगठन पर नहीं बल्कि आम लोगों पर है। उन्होंने कहा कि जमीनी और शहरी स्तर पर पूरा देश सीएम का भ्रष्टाचार, अन्याय और कुशासन देख रहा है।
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इसके साथ ही उन्होंने कहा कि जब पूर्व शिक्षा मंत्री पार्थ चटर्जी पैसे ले रहे थे तब मुख्यमंत्री क्या कर रही थी? उन्होंने साफ शब्दों में कहा कि बंगाल की जनता सब कुछ जान गई है और यही कारण है कि दीदी को सत्ता जाने का डर सताने लगा है। इसलिए वह प्रदर्शनकारियों को हटा रही हैं। आपको बता दें कि वरिष्ठ अधिकारियों के नेतृत्व में एक पुलिस दल ने शहर के सॉल्ट लेक इलाके स्थित पश्चिम बंगाल प्राथमिक शिक्षा बोर्ड के प्रधान कार्यालय के पास धरने पर 84 घंटे से बैठे लगभग 500 प्रदर्शनकारियों को बृहस्पतिवार-शुक्रवार की दरमियानी रात हटा दिया, जिन्होंने 2014 की शिक्षक अर्हता परीक्षा (टीईटी) परीक्षा उत्तीर्ण करने के बावजूद मेधा (मेरिट) सूची से हटाए जाने का दावा किया था।
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