Operation Bluestar की बरसी पर स्वर्णमंदिर के बाहर लगे 'खालिस्तान जिंदाबाद' के नारे
ऑपरेशन ब्लूस्टार की 38वीं बरसी पर स्वर्ण मंदिर में खालिस्तान समर्थक नारे लगे।मौके पर मौजूद पूर्व सांसद सिमरनजीत सिंह मान के नेतृत्व वाले शिरोमणि अकाली दल (अमृतसर) के कार्यकर्ताओं ने भी खालिस्तान समर्थक नारे लगाए।
अमृतसर (पंजाब)। ‘ऑपरेशन ब्लूस्टार’ की 38वीं बरसी पर स्वर्ण मंदिर में कट्टरपंथी सिख संगठनों के साथ-साथ शिरोमणि अकाली दल (अमृतसर) के समर्थकों ने खालिस्तान के समर्थन में नारे लगाए। सिखों की सर्वोच्च अकाल तख्त के पास स्वर्ण मंदिर में संगमरमर के परिसर में खालिस्तान समर्थक नारों की गूंज सुनाई दी। इस दौरान कई युवक हाथ में तख्तियां थामे नजर आए, जिन पर ‘‘खालिस्तान जिंदाबाद’’ लिखा हुआ था। उन्होंने मारे गए अलगाववादी नेता जरनैल सिंह भिंडरांवाले की तस्वीर वाली ‘टी-शर्ट’ भी पहन रखी थी।
#WATCH | Punjab: A group of people gathers at the entrance to the Golden Temple in Amritsar, raises pro-Khalistan slogans and carries posters of Khalistani separatist Jarnail Bhindranwale. pic.twitter.com/zTu9ro7934
— ANI (@ANI) June 6, 2022
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मौके पर मौजूद पूर्व सांसद सिमरनजीत सिंह मान के नेतृत्व वाले शिरोमणि अकाली दल (अमृतसर) के कार्यकर्ताओं ने भी खालिस्तान समर्थक नारे लगाए। उन्होंने पंजाबी गायक सिद्धू मूसेवाला की हत्या का मुद्दा भी उठाया और उनके परिवार के लिए न्याय की मांग की। वर्ष 1984 में स्वर्ण मंदिर से आतंकवादियों को बाहर निकालने के लिए एक सैन्य अभियान चलाया गया था, जिसे ‘ऑपरेशन ब्लूस्टार’ के नाम से जाना जाता है। ‘ऑपरेशन ब्लूस्टार’ की 38वीं बरसी पर अमृतसर में सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किए गए हैं।
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अकाल तख्त के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने इस मौके पर सिख समुदाय के लिए जारी अपने संदेश में कहा कि सिख प्रचारकों और विद्वानों को सिख धर्म को बढ़ावा देने तथा समृद्ध सिख सिद्धांतों एवं इतिहास के बारे में युवाओं को अवगत कराने के लिए सीमा क्षेत्रों का दौरा करना चाहिए। उन्होंने मादक पदार्थों की समस्या से निपटने की जरूरत पर भी जोर दिया, जिससे कई युवाओं का जीवन बर्बाद हो रहा है। इस मौके पर सिखों की सर्वोच्च धार्मिक संस्था शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (एसजीपीसी) ने गुरु ग्रंथ साहिब के उस पवित्र ‘स्वरूप’ को प्रदर्शित किया, जिस पर गोली का निशान है। 1984 में सैन्य कार्रवाई के दौरान गर्भगृह में रखे ‘स्वरूप’ पर एक गोली लगी थी।
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