'महाराष्ट्र में कानून व्यवस्था चिंता का विषय', Sharad Pawar बोले- विधायकों की अयोग्यता मामले में अपनाई जा रही देरी की रणनीति

Sharad Pawar
ANI
अंकित सिंह । Oct 13 2023 1:58PM

पवार ने मुंबई पुलिस में कर्मियों की "संविदा नियुक्ति" को लेकर भी सरकार की आलोचना की। उन्होंने कहा कि राज्य ने सरकारी भर्तियां संविदा पर करने का फैसला लिया है। इस सप्ताह की शुरुआत में, महाराष्ट्र सरकार ने अपने स्वयं के सुरक्षा निगम से 3,000 कर्मियों को नियुक्त करने का आदेश जारी किया जो मुंबई पुलिस के तहत काम करेंगे।

राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) के अध्यक्ष शरद पवार ने शुक्रवार को राज्य में महिलाओं की "सुरक्षा" और "संविदा पर नियुक्ति" को लेकर महाराष्ट्र सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र में कानून व्यवस्था एक बड़ी चिंता का विषय है। राज्य सरकार को इस स्थिति को गंभीरता से लेते हुए इस संबंध में उचित कदम उठाने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि एक अन्य महत्वपूर्ण मुद्दा रिक्त सरकारी पदों को संविदा नियुक्ति के माध्यम से भरने का है जो सही नहीं है। एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए, पवार ने दावा किया कि इस साल 1 जनवरी से 31 मई के बीच राज्य से 19,553 महिलाएं "लापता" थीं।

इसे भी पढ़ें: Maharashtra: Ajit Pawar को लेकर बोले Sharad Pawar, वह केवल सपने में ही मुख्यमंत्री बनेंगे

पवार ने मुंबई पुलिस में कर्मियों की "संविदा नियुक्ति" को लेकर भी सरकार की आलोचना की। उन्होंने कहा कि राज्य ने सरकारी भर्तियां संविदा पर करने का फैसला लिया है। इस सप्ताह की शुरुआत में, महाराष्ट्र सरकार ने अपने स्वयं के सुरक्षा निगम से 3,000 कर्मियों को नियुक्त करने का आदेश जारी किया जो मुंबई पुलिस के तहत काम करेंगे। शरद पवार ने यह भी कहा कि एनसीपी और शिवसेना (यूबीटी) ने कुछ विधायकों की अयोग्यता के संबंध में समयबद्ध तरीके से निर्णय लेने के लिए महाराष्ट्र विधानसभा अध्यक्ष को निर्देश देने के लिए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। SC स्पीकर को समयबद्ध तरीके से फैसला लेने का निर्देश दे सकता है. हमें डर है कि मामले में देरी की रणनीति अपनाई जा रही है।'

इसे भी पढ़ें: Rohit Pawar की कृषि इकाई पर्यावरण को नुकसान पहुंचा रही थी: एमपीसीबी ने उच्च न्यायालय से कहा

वहीं, सुप्रीम कोर्ट ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उनका समर्थन करने वाले विधायकों के खिलाफ अयोग्यता याचिकाओं पर फैसले में देरी के लिए महाराष्ट्र विधानसभा अध्यक्ष राहुल नार्वेकर को फटकार लगाई। अदालत ने कहा कि यदि स्पीकर प्रक्रिया में तेजी लाने के लिए संशोधित कार्यक्रम प्रस्तुत करने में विफल रहते है तो वह एक समयसीमा तय करेगा। पीठ ने कहा कि हम इस अदालत की गरिमा बनाए रखने के बारे में चिंतित हैं। हमारे आदेशों का पालन किया जाना चाहिए। उसने कहा कि स्पीकर को अगले साल विधानसभा चुनाव से पहले अयोग्यता याचिकाओं पर फैसला करना होगा अन्यथा पूरी प्रक्रिया निरर्थक हो जाएगी।

We're now on WhatsApp. Click to join.
All the updates here:

अन्य न्यूज़