Wrestlers को पुलिस ने लिया हिरासत में, Mamata से लेकर Rahul Gandhi ने की निंदा
दिल्ली के जंतर मंतर पर रविवार को उस समय काफी हंगामा हो गया जब प्रदर्शन कर रहे पहलवानों ने संसद भवन की ओर कूच करने की कोशिश की और इस दौरान पुलिस को उन्हें हिरासत में लेना पड़ा। विपक्षी दलों ने इसकी कड़ी निंदा की है।
नयी दिल्ली। दिल्ली में रविवार को जहां नई संसद भवन का उद्घाटन किया जा रहा था वहीं दूसरी तरफ जंतर मंतर पर प्रदर्शन कर रहे पहलवानों को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में लिया। पहलवान इस दौरान बीजेपी सांसद और भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह की गिरफ्तारी की मांग को लेकर संसद भवन की ओर कूच करने जा रहे थे।
इस दौरान महिला पहलवानों को भी हिरासत में लिया गया। विनेश फोगाट, साक्षी मलिक और बजरंग पूनिया को कानून और व्यवस्था के उल्लंघन के लिए हिरासत में ले लिया गया था। इसके बाद पुलिस ने पहलवानों को जबरदस्ती बसों में बैठाकर अज्ञात स्थल पर भेज दिया था। वहीं अब इस घटना के बाद विपक्षी नेताओं ने इस कदम की निंदा की है।
विपक्ष ने की निंदा
कांग्रेस समेत कई विपक्षी दलों ने प्रदर्शन कर रहीं महिला पहलवानों को हिरासत में लिए जाने तथा उनके साथ कथित तौर पर हाथापाई होने के बाद रविवार को सरकार पर निशाना साधा और कहा कि ‘अहंकारी राजा’ जनता की आवाज को कुचल रहा है। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा संसद के नए भवन का उद्घाटन किए जाने का परोक्ष रूप से हवाला देते हुए ट्वीट किया, ‘‘राज्याभिषेक पूरा हुआ - ‘अहंकारी राजा सड़कों पर कुचल रहा जनता की आवाज़!’’ कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा ने आरोप लगाया कि सरकार महिला खिलाड़ियों की आवाज को निर्ममता से बूटों तले रौंद रही है।
राज्याभिषेक पूरा हुआ - 'अहंकारी राजा' सड़कों पर कुचल रहा जनता की आवाज़! pic.twitter.com/9hbEoKZeZs
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) May 28, 2023
प्रियंका गांधी ने ट्वीट किया, ‘‘खिलाड़ियों की छाती पर लगे मेडल हमारे देश की शान होते हैं। उन मेडलों से, खिलाड़ियों की मेहनत से देश का मान बढ़ता है। भाजपा सरकार का अहंकार इतना बढ़ गया है कि सरकार हमारी महिला खिलाड़ियों की आवाजों को निर्ममता के साथ बूटों तले रौंद रही है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ ये एकदम गलत है। पूरा देश सरकार के अहंकार और इस अन्याय को देख रहा है।’’
इस दौरान ममता बनर्जी ने ट्वीट किया कि जिस तरह से दिल्ली पुलिस ने साक्षी मलिक, विनेश फोगाट समेत अन्य पहलवानों के साथ मारपीट की है उसकी मैं कड़ी निंदा करती हूं। ये शर्मनाक है कि हमारे विजेताओं के साथ इस तरह व्यवहार होता है। लोकतंत्र में सहिष्णुता में है लेकिन निरंकुश ताकतें असहिष्णुता और विरोध को दबाने पर पनपती है। मेरी मांग है कि पुलिस हिरासत से पहलवानो को तत्काल रिहा करे। मैं पहलवानों के साथ हूं।
कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने ट्वीट किया, ‘‘आज जब प्रधानमंत्री नए संसद भवन का उद्घाटन कर रहे थे और लोकतंत्र को लेकर प्रवचन दे रहे थे, तब संसद से कुछ ही दूरी पर मेडल जीतकर देश का मान बढ़ाने वाली बेटियों को इस तरह हिरासत में लिया जा रहा था। यह शर्मनाक है और मोदी सरकार के असली चेहरे को दिखाता है।’’
आम आदमी पार्टी के संयोजक और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट किया, ‘‘देश का मान बढ़ाने वाले हमारे खिलाड़ियों के साथ ऐसा बर्ताव बेहद ग़लत एवं निंदनीय।’’ राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी की नेता सुप्रिया सुले ने सवाल किया कि क्या महिला खिलाड़ियों के साथ हाथापाई करने के लिए गृह मंत्रालय से अनुमति मिली थी? उन्होंने कहा, ‘‘यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि देश को सम्मान दिलाने वाली खिलाड़ियों को न्याय के लिए इस तरह संघर्ष करने को मजबूर होना पड़ रहा है। जो कभी विजेता थीं और जिनका सब सम्मान किया करते थे, क्या अब वो इसलिए खलनायक हो गई क्योंकि वे न्याय मांग रही हैं?’’
शिवसेना (यूबीटी) सांसद प्रियंका चतुर्वेदी ने कहा कि महिला पहलवानों के साथ हुए इस व्यवहार के लिए सरकार को शर्म करनी चाहिए। उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘विश्व चैम्पियन, भारत की बेटियां अपने सम्मान के लिए लड़ रही है। सांसद को बचाया जा रहा है। भारत सरकार को शर्म करनी चाहिए।
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