नक्सल प्रभावित दंतेवाड़ा सीट पर उपचुनाव संपन्न
अधिकारियों ने बताया कि कुछ स्थानों पर इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीन में खराबी के कारण मतदान कुछ देर तक बाधित हुआ। लेकिन बाद में मतदान फिर से प्रारंभ किया गया। क्षेत्र में नक्सली धमकी के बाद भी मतदाताओं ने मतदान में बढ़चढ़कर हिस्सा लिया। कई मतदाता मतदान करने के लिए इंद्रावती नदी पारकर मतदान केंद्रों तक पहुंचे।जिले के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों ने बताया कि दो दिन पहले दो नक्सलियों कंचा भीमा और नीलु ने पुलिस के सामने आत्मसमर्पण किया था।
रायपुर। छत्तीसगढ़ की नक्सल प्रभावित दंतेवाड़ा विधानसभा सीट पर उपचुनाव के लिए सोमवार को मतदान संपन्न हो गया। राज्य के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय के अधिकारियों ने यहां बताया कि दंतेवाड़ा विधानसभा सीट के लिए सुबह सात बजे मतदान प्रारंभ हुआ था और मतदान के समय की समाप्ति अपराह्र तीन बजे तक 53.25 फीसदी मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग कर लिया था। अधिकारियों ने बताया कि मतदान का समय समाप्त होने पर विधानसभा क्षेत्र के कई मतदान केंद्रों में मतदाताओं की लंबी कतारे थी। इससे मतदान प्रतिशत में बढ़ोतरी होने की संभावना है।उन्होंने बताया कि क्षेत्र में मतदान आमतौर पर शांतिपूर्ण रहा है। जिले के कटेकल्याण क्षेत्र में परचेली गांव के करीब नक्सलियों ने बारूदी सुरंग लगायी थी जिसे सुरक्षा बलों ने नष्ट कर दिया है। क्षेत्र में मतदान शुरू होने से पहले सुबह लगभग छह बजे चिकपाल मतदान केंद्र में पीठासीन अधिकारी चंद्रप्रकाश ठाकुर की मौत हो गई। बाद में उनके स्थान अन्य पीठासीन अधिकारी को तैनात किया गया। अभी तक मिली जानकारी के अनुसार ठाकुर की मौत दिल का दौरा पड़ने से हुई है।
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अधिकारियों ने बताया कि कुछ स्थानों पर इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीन में खराबी के कारण मतदान कुछ देर तक बाधित हुआ। लेकिन बाद में मतदान फिर से प्रारंभ किया गया। क्षेत्र में नक्सली धमकी के बाद भी मतदाताओं ने मतदान में बढ़चढ़कर हिस्सा लिया। कई मतदाता मतदान करने के लिए इंद्रावती नदी पारकर मतदान केंद्रों तक पहुंचे।जिले के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों ने बताया कि दो दिन पहले दो नक्सलियों कंचा भीमा और नीलु ने पुलिस के सामने आत्मसमर्पण किया था। उन्होंने भी आज मतदान में हिस्सा लिया। उन्होंने किरंदुल क्षेत्र के गुमियापाल के मतदान केंद्र में मतदान किया है। उन्होंने बताया कि क्षेत्र में शांतिपूर्ण मतदान के लिए सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं। क्षेत्र में अर्धसैनिक बलों और राज्य पुलिस के लगभग 18 हजार जवानों को तैनात किया गया है। वहीं क्षेत्र में ड्रोन से भी नजर रखी जा रही है। अधिकारियों ने बताया कि दंतेवाड़ा क्षेत्र में 188263 मतदाता हैं। जिनमें 89747 पुरुष मतदाता तथा 98876 महिला मतदाता शामिल हैं।
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क्षेत्र में मतदान के लिए 273 मतदान केंद्रों की स्थापना की गई है। मतगणना 27 सितम्बर को होगी। उपचुनाव में कुल नौ उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं। जबकि मुख्य मुकाबला सत्ताधारी कांग्रेस और मुख्य विपक्षी दल भारतीय जनता पार्टी के मध्य है। कांग्रेस ने दंतेवाड़ा सीट के लिए देवती कर्मा पर भरोसा किया है। देवती कर्मा पूर्व नेता प्रतिपक्ष महेंद्र कर्मा की पत्नी है। वर्ष 2013 में झीरम घाटी हमले में नक्सलियों ने महेंद्र कर्मा की हत्या कर दी थी। वहीं भाजपा ने विधायक रहे भीमा मंडावी की पत्नी ओजस्वी मंडावी को चुनाव मैदान में उतारा है। इस वर्ष हुए लोकसभा चुनाव के दौरान नौ अप्रैल को चुनाव प्रचार पर निकले विधायक भीमा मंडावी के वाहन को नक्सलियों ने विस्फोट कर उड़ा दिया था। इस हमले में मंडावी और चार अन्य सुरक्षाकर्मियों की मौत हो गई थी।पिछले साल हुए विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की देवती कर्मा भाजपा के भीमा मंडावी से 2172 मतों से चुनाव हार गई थी। इस चुनाव में दंतेवाड़ा सीट, बस्तर क्षेत्र के 12 विधानसभा सीटों में से एकमात्र ऐसी सीट थी जिसमें भाजपा जीती थी।वर्ष 2018 में हुए विधानसभा चुनाव में राज्य में कांग्रेस ने 90 में से 68 सीटों पर जीत हासिल की थी। वहीं भाजपा को 15 सीटें मिली थी। जबकि बहुजन समाज पार्टी ने दो सीटों पर तथा जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ :जे: ने पांच सीटों पर जीत हासिल की थी।
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