Prabhasakshi NewsRoom: जनता की अदालत में बुरी तरह पिट चुके Kamal Haasan अब सनातन धर्म विरोधी Udhayanidhi Stalin का समर्थन कर चुनावी नैय्या पार लगाना चाहते हैं

Kamal Haasan
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जहां तक कमल हासन के बयान की बात है तो आपको बता दें कि मक्कल नीधि मैय्यम के प्रमुख ने कहा है कि द्रविड़ मुनेत्र कषगम (द्रमुक) के नेता और तमिलनाडु के युवा कल्याण मंत्री उदयनिधि स्टालिन को सनातन धर्म पर उनकी टिप्पणी को लेकर ‘घेरा’ जा रहा है।

कमल हासन एक शानदार अभिनेता जरूर हैं लेकिन राजनीति में वह पिटे हुए खिलाड़ी हैं। अब लोकसभा चुनावों से पहले उन्होंने राजनीति में एक बार और हाथ आजमाने के लिए नया दांव चला है। हम आपको बता दें कि देश में सनातन धर्म के खिलाफ बोलने वाले नेताओं और उनका समर्थन करने वाले नेताओं की जो श्रृंखला बन रही है उसमें कमल हासन भी जुड़ गये हैं। सनातन धर्म के खिलाफ आपत्तिजनक बयान देने वाले तमिलनाडु के मंत्री उदयनिधि स्टालिन के समर्थन में जिस तरह कमल हासन उतरे हैं वह दर्शा रहा है कि उनका मन भी सनातन विरोध से भरा हुआ है। इसके अलावा यह हैरत भरी बात है कि जो उदयनिधि स्टालिन बार-बार सनातन धर्म पर हमला कर रहे हैं उन्हें कमल हासन बच्चा करार दे रहे हैं। कमल हासन कह रहे हैं कि एक बच्चे को घेरा जा रहा है। 45 साल का उदयनिधि स्टालिन यदि कमल हासन को बच्चा लग रहा है तो इससे कमल हासन की मानसिक स्थिति पर भी सवाल खड़ा होता है। सवाल उठता है कि क्या 68 वर्षीय कमल हासन की सोचने समझने की शक्ति चली गयी है जो वह 45 वर्ष के व्यक्ति की तुलना बच्चे से कर रहे हैं? बच्चा तो एक बार गलती करके संभल जाता है लेकिन उदयनिधि स्टालिन और द्रमुक के अन्य नेताओं ने जिस तरह सनातन धर्म का अपमान करने का बीड़ा उठाया हुआ है वह कोई बचकानी हरकत नहीं बल्कि सोची समझी साजिश है और यह सब रणनीति के तहत किया जा रहा है।

सनातन धर्म का खुलकर विरोध करने वाले नेताओं के समर्थन में जिस तरह कमल हासन भी खुलकर उतरे हैं वह यह भी दर्शा रहा है कि कुछ लोगों को लगता है कि उनकी चुनावी नैय्या इसी तरह पार होगी। एक तरह से देखा जाये तो सनातन धर्म पर हमला करने के लिए एकदम से कई आक्रांता आ गये हैं। हम आपको याद दिला दें कि कमल हासन तमिलनाडु के पिछले विधानसभा चुनावों से पहले अपनी पार्टी का गठन कर दो विधानसभा सीटों से लड़े थे। उनकी पार्टी ने उनको मुख्यमंत्री उम्मीदवार भी घोषित किया था लेकिन जनता ने उन्हें ऐसा पटका था कि वह दोनों सीटों से चुनाव हार गये थे। चुनाव हारने के बाद जब उन्हें अपनी राजनीतिक हैसियत का अंदाजा हुआ तो वह मदद मांगने के लिए कांग्रेस की शरण में गये और भारत जोड़ो यात्रा के दौरान राहुल गांधी का विभिन्न मुद्दों पर साक्षात्कार कर देश में भ्रम फैलाने का काम किया। कमल हासन ने राहुल गांधी का साक्षात्कार लेकर खुद को और राहुल गांधी को तमाम विषयों का विशेषज्ञ साबित करने का प्रयास किया लेकिन विफल रहे। अब वह द्रमुक के करीब जाते दिख रहे हैं इसलिए द्रमुक के युवराज उदयनिधि स्टालिन का समर्थन किया है ताकि उनके पिता और मुख्यमंत्री एमके स्टालिन उन्हें कुछ तवज्जो दें और लोकसभा पहुँचने का उनका सपना साकार हो सके।

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जहां तक कमल हासन के बयान की बात है तो आपको बता दें कि मक्कल नीधि मैय्यम के प्रमुख ने कहा है कि द्रविड़ मुनेत्र कषगम (द्रमुक) के नेता और तमिलनाडु के युवा कल्याण मंत्री उदयनिधि स्टालिन को सनातन धर्म पर उनकी टिप्पणी को लेकर ‘घेरा’ जा रहा है। कोयंबटूर में अपनी पार्टी की एक बैठक में कमल हासन ने अपने संबोधन में उदयनिधि, भाजपा या अन्य संगठन का नाम लिये बगैर कहा कि आज एक ‘‘छोटे बच्चे’ को निशाना बनाया जा रहा है क्योंकि उसने सनातन धर्म के बारे में बोला है। सनातन धर्म पर मंत्री के बयान में कुछ भी नया नहीं होने का संकेत देते हुए अभिनेता कमल हासन ने कहा कि उदयनिधि के दादा और दिवंगत द्रमुक नेता एम करुणानिधि जैसे द्रविड़ आंदोलन के कई नेताओं ने भी अतीत में उसके बारे में बोला है। कमल हासन ने कहा कि सामाजिक बुराइयों के प्रति सुधारवादी नेता पेरियार ईवी रामास्वामी की नाराजगी की सीमा को उनके जीवन से समझा जा सकता है। उन्होंने कहा कि खुद उनके जैसे लोग भी पेरियार के कारण ही ‘सनातन’ शब्द को समझ पाये। कमल हासन ने कहा कि पेरियार तो एक मंदिर के प्रशासक रहे थे और उन्होंने काशी में रहने के दौरान पूजा भी की, लेकिन उन्होंने सब छोड़ दिया एवं अपना संपूर्ण जीवन लोगों की सेवा में समर्पित कर दिया। उन्होंने कहा कि न तो सत्तारुढ़ द्रमुक और न ही कोई अन्य दल दावा कर सकता है कि पेरियार बस उसके हैं, समूचे तमिलनाडु को उन पर बतौर नेता गर्व करना चाहिए। उन्होंने कहा कि वह स्वयं भी उन लोगों में से एक हैं जो पेरियार का सम्मान करते हैं। कमल हासन ने यह भी कहा कि भाजपा अगला लोकसभा चुनाव अपनी सुविधा के हिसाब से समय से पहले करा सकती है।

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