जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने में भारत को करना पड़ा 72 साल का इंतजार: सिंह
अनुच्छेद-370 पर 14 वर्षीय अयाना कोहली की लिखी किताब का लोकार्पण करने के मौके पर सिंह ने कहा कि यह किताब प्रमाणित करती है कि इस आयुवर्ग के बच्चों ने भी इस अनुच्छेद की वजह से कितनी घोर मानसिक पीड़ा और अन्याय सहा, जिसे अब खत्म कर दिया गया है।
नयी दिल्ली। केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने बुधवार को कहा कि जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद-370 को निष्क्रिय करने के लिए भारत को 72 साल का इंतजार करना पड़ा और मोदी सरकार के इस फैसले का स्वागत हर भारतीय ने किया। अनुच्छेद-370 पर 14 वर्षीय अयाना कोहली की लिखी किताब का लोकार्पण करने के मौके पर सिंह ने कहा कि यह किताब प्रमाणित करती है कि इस आयुवर्ग के बच्चों ने भी इस अनुच्छेद की वजह से कितनी घोर मानसिक पीड़ा और अन्याय सहा, जिसे अब खत्म कर दिया गया है।
उन्होंने कहा कि अनुच्छेद-370 को निष्क्रिय करने के मोदी सरकार के फैसले के लिए 72 साल तक इंतजार करना पड़ा। इस फैसले पर हर भारतीय ने जश्न मनाया। गत दो महीने मैं जहां गया वहां यही देखा। इस रचना के लिए अयाना की प्रशंसा करते हुए केंद्रीय मंत्री ने कहा कि यह किताब शानदार दस्तावेज है कि कैसे यहां तक कि एक बच्ची जिसने जम्मू-कश्मीर में न तो जन्म लिया है और न तो उसकी परवरिश वहां हुई है, उसका बचपन भी, सैन्य अधिकारी पिता के घाटी को पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवाद से बचाने के लिए लगातार हुए तबादले से बोझिल हो गया।
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जम्मू-कश्मीर के ही रहने वाले सिंह ने कहा कि उन्होंने किताब पढ़ी है जिसमें समकालीन कश्मीर की पृष्ठभूमि में इतिहास आधारित उपन्यास लिखा गया है। अयाना के सैन्य अधिकारी पिता ने कहा कि वह इसलिए किताब का लोकार्पण सिंह से नहीं करवाना चाहते थे क्योंकि वह जम्मू-कश्मीर से हैं बल्कि इसलिए करवाना चाहते थे क्योंकि पिछले कई वर्षों से उन्होंने अनुच्छेद-370 पर गहनता से काम किया है और उस पर लिखा है।
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