HC ने VVIP हेलीकॉप्टर घोटाले मामले में रतुल पुरी की अग्रिम जमानत याचिका खारिज की
ईडी की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल अमन लेखी ने पुरी की अग्रिम जमानत याचिका का विरोध किया और कहा कि पुरी जांच के दौरान सवालों के जवाब देने से बच रहे हैं और उनके उत्तर जाहिरा तौर पर भ्रामक लग रहे हैं। उन्होंने कहा कि जवाब देने से बचना उनसे हिरासत में पूछताछ की मांग करने का आधार है।
नयी दिल्ली। दिल्ली उच्च न्यायालय ने वीवीआईपी हेलीकॉप्टर घोटाले से संबंधित धनशोधन के एक मामले में मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ के भांजे एवं कारोबारी रतुल पुरी की अग्रिम जमानत याचिका मंगलवार को खारिज कर दी। न्यायमूर्ति सुनील गौड़ ने प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) और पुरी के वकीलों की दलीलें सुनने के बाद यह आदेश जारी किया। पुरी की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने दलील दी कि उनका मुवक्किल जांच में सहयोग कर रहा है और एजेंसी के आचरण में कानूनी दुर्भावना तथा प्रतिशोध की भावना भरी है।
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ईडी की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल अमन लेखी ने पुरी की अग्रिम जमानत याचिका का विरोध किया और कहा कि पुरी जांच के दौरान सवालों के जवाब देने से बच रहे हैं और उनके उत्तर जाहिरा तौर पर भ्रामक लग रहे हैं। उन्होंने कहा कि जवाब देने से बचना उनसे हिरासत में पूछताछ की मांग करने का आधार है। अधिवक्ता विजय अग्रवाल के माध्यम से दाखिल अपनी याचिका में पुरी ने निचली अदालत के छह अगस्त के आदेश को चुनौती दी है। निचली अदालत ने उनकी अग्रिम जमानत की अपील खारिज कर दी थी। नौ अगस्त को निचली अदालत ने ईडी की अपील पर पुरी के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया था। ईडी ने आज सुबह बैंक रिण जालसाजी के एक अन्य मामले में पुरी को गिरफ्तार कर लिया।
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