संभावना वाले क्षेत्रों, महत्वपूर्ण बाजारों पर ध्यान केंद्रित करें निर्यातक : वाणिज्य मंत्रालय

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निवेश बढ़ाने से वैश्विक मूल्य श्रृंखलाओं के साथ एकीकरण के माध्यम से व्यापार को बढ़ावा देने में मदद मिलेगी।

वाणिज्य मंत्रालय ने निर्यात को बढ़ावा देने के लिए खाद्य, इलेक्ट्रॉनिक्स और इंजीनियरिंग जैसे संभावना वाले प्रमुख क्षेत्रों और 12 प्रमुख बाजारों पर ध्यान केंद्रित करने की निर्यातकों को सलाह दी है। एक सरकारी अधिकारी ने सोमवार को यह जानकारी दी। अधिकारी ने बताया कि इसके साथ ही निर्यातकों को वैश्विक स्तर पर मेलों और प्रदर्शनियों का आयोजन करने को भी कहा गया है। मंत्रालय द्वारा उद्योग और निर्यातकों के साथ बैठक के दौरान इन मुद्दों पर चर्चा की गई। बैठक की अध्यक्षता वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने की। अधिकारी ने कहा कि जिन छह क्षेत्रों में देश का निर्यात बढ़ाने की बड़ी संभावना है । 

 उनमें खाद्य, कपड़ा, इंजीनियरिंग, इलेक्ट्रिकल्स एवं इलेक्ट्रॉनिक्स, चिकित्सा उपकरण, फार्मा और वाहन कलपुर्जा शामिल हैं।इसके अलावा अमेरिका, ब्रिटेन, ब्राजील, जर्मनी, सऊदी अरब, स्वीडन, ताइवान, दक्षिण कोरिया, जापान और रूस जैसे मुख्य वैश्विक गंतव्यों में निर्यात को और बढ़ावा दिया जा सकता है। बैठक में भाग लेने वाले एक उद्योग प्रतिनिधि ने कहा कि व्यापार और निवेश दोनों पर जोर दिया गया। निवेश बढ़ाने से वैश्विक मूल्य श्रृंखलाओं के साथ एकीकरण के माध्यम से व्यापार को बढ़ावा देने में मदद मिलेगी। यह बैठक इस लिहाज से महत्वपूर्ण है कि वैश्विक बाजारों में मांग घटने के कारण देश का वस्तुओं का निर्यात पिछले चार माह से लगातार घट रहा है।

एक निर्यातक ने कहा कि वैश्विक आर्थिक अनिश्चितताओं के कारण जून के निर्यात आंकड़े भी ‘निराशाजनक’ दिख रहे हैं। निर्यातक ने कहा, व्यापार और निवेश को समानांतर रूप से बढ़ावा देने की जरूरत है। मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक, मई में निर्यात लगातार चौथे महीने सालाना आधार पर 10.3 प्रतिशत घटकर 34.98 अरब डॉलर रह गया, जबकि व्यापार घाटा बढ़कर पांच महीने के उच्चतम स्तर 22.12 अरब डॉलर पर पहुंच गया।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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