G7 सम्मेलन में ईरान, अमेजन आग का मुद्दा छाया, लेकिन खुद की एकता पर भी उठे सवाल
फ्रांस के तटीय शहर बिआरित्ज में सोमवार को जी7 शिखर सम्मेलन संपन्न हो गया जिसमें सदस्य देशों के बीच अमेजन के वर्षावन में आग सहित दुनिया के सामने पेश समस्याओं पर चर्चा हुई लेकिन इन सब पर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का ‘‘कारोबार युद्ध’’ का मुद्दा छाया रहा और इस समूह की एकता पर भी सवाल उठे।
बिआरित्ज (फ्रांस)। फ्रांस के तटीय शहर बिआरित्ज में सोमवार को जी7 शिखर सम्मेलन संपन्न हो गया जिसमें सदस्य देशों के बीच अमेजन के वर्षावन में आग सहित दुनिया के सामने पेश समस्याओं पर चर्चा हुई लेकिन इन सब पर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का ‘‘कारोबार युद्ध’’ का मुद्दा छाया रहा और इस समूह की एकता पर भी सवाल उठे। इस सम्मेलन ने शनिवार को तब नाटकीय मोड़ ले लिया जब ईरान के विदेश मंत्री मोहम्मद जवाद जरीफ तेहरान के विवादित परमाणु कार्यक्रम पर राजनयिक गतिरोध के संबंध में चर्चा करने के लिए बिआरित्ज पहुंचे। जरीफ की यहां मौजूदगी अप्रत्याशित थी और यह फ्रांस की तरफ से ईरान और अमेरिका के बीच जारी तनाव कम करने की कोशिश थी।
Iran's active diplomacy in pursuit of constructive engagement continues.
— Javad Zarif (@JZarif) August 25, 2019
Met @EmmanuelMacron on sidelines of #G7Biarritz after extensive talks with @JY_LeDrian & Finance Min. followed by a joint briefing for UK/Germany.
Road ahead is difficult. But worth trying. pic.twitter.com/oXdACvt20T
फ्रांस के राजनयिकों ने बताया कि ईरान के विदेश मंत्री ने ट्रंप से मुलाकात नहीं की लेकिन एक जगह दोनों नेताओं की मौजूदगी ने दोनों के बीच नरमी की उम्मीद पैदा कर दी। इस साल जुलाई में अमेरिकी सरकार ने जरीफ की यात्रा बाधित करने के उद्देश्य से भारी प्रतिबंध लगा दिये थे। अमेरिका में पढ़े-लिखे जरीफ ने फ्रांस के राष्ट्रपति एमैनुएल मैक्रों और विदेश मंत्री ज्यां यीव ला द्रयां से मुलाकात की। उन्होंने ब्रिटेन और जर्मनी के प्रतिनिधियों से भी मुलाकात की। इसके बाद उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘ आगे का रास्ता बहुत कठिन है लेकिन कोशिश करने के योग्य है।’’फ्रांस के अधिकारियों ने कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति को ईरान के विदेश मंत्री के यहां पहुंचने की जानकारी थी।
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सूत्रों का कहना है कि जरीफ की इस यात्रा के बारे में अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप और फ्रांस के राष्ट्रपति मैक्रों के बीच शनिवार को दोपहर के भोजन के दौरान भी चर्चा हुई। नाम न जाहिर करने की शर्त पर एक राजनयिक ने कहा, ‘‘ हम अमेरिका के साथ पूरी पारदर्शिता से काम कर रहे हैं।’’हालांकि अमेरिकी मीडिया में यह खबर चल रही थी कि व्हाइट हाउस इस यात्रा से हैरत में है। ट्रंप सोमवार को वाशिंगटन लौटने से पहले एक संवाददाता सम्मेलन करेंगे। उन्होंने रविवार को दावा किया था कि जी-7 सम्मेलन ‘बेहतर तरीके’ से चल रहा है। ब्रिटेन, कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान और अमेरिका जी-7 समूह का हिस्सा हैं। इन देशों के नेताओं ने सम्मेलन के दूसरे दिन यहां के मनोरम समुद्र तट पर एक सामूहिक तस्वीर खिंचवाई।
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अमेजन के जंगल में लगी आग को लेकर सम्मेलन के अंतिम दिन चर्चा हुई और इस पूरे घटनाक्रम को दुनिया के ‘‘ग्रीन लंग्स’’ पर हमला बताया गया। हालांकि ट्रंप ने इस मुद्दे पर ज्यादा बातें नहीं की। वह अपने नए मित्र और ब्राजील के राष्ट्रपति जेयर बोल्सोनारो को लेकर बाकी सदस्यों से जरा अलग ही रहे। बोल्सोनारों की नीतियों को अमेजन के जंगल में लगी आग के लिए जिम्मेदार ठहराया जा रहा है। शिखर सम्मेलन में कारोबार एक बड़ा मुद्दा था जिसकी वजह से ट्रंप जी 7 नेताओं से लगभग अलग रहे। बहरहाल, अमेरिकी राष्ट्रपति ने जी-7 शिखर सम्मेलन में ‘‘ब्रेक्जिट’’ के लिए ‘सही व्यक्ति’के तौर पर ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन का रविवार को समर्थन किया।
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