सऊदी अरब में पाक प्रधानमंत्री के खिलाफ नारेबाजी को लेकर इमरान खान और 150 अन्य पर मामला दर्ज
सोशल मीडिया पर प्रसारित कुछ वीडियो में देखा जा सकता है कि शरीफ और उनका शिष्टमंडल पिछले बृहस्पतिवार को जैसे ही मदीना में पैगंबर की मस्जिद के परिसर में पहुंचा, वैसे ही कुछ जायरीन उनके खिलाफ ‘चोर’ और ‘गद्दार’ की नारेबाजी करने लगे। इन जायरीनों को इमरान का समर्थक माना जा रहा है।
लाहौर| पाकिस्तान के पंजाब प्रांत की पुलिस ने सऊदी अरब में मस्जिद-ए-नबवी परिसर में प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और उनके शिष्टमंडल के खिलाफ नारेबाजी करने के आरोप में पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान और 150 अन्य लोगों के खिलाफ कड़े प्रावधानों वाले ईशनिंदा कानून के तहत एक मामला दर्ज किया है। अधिकारियों ने बताया कि आरोपियों में इमरान के मंत्रिमंडल का हिस्सा रह चुके कुछ सदस्य भी शामिल हैं।
सोशल मीडिया पर प्रसारित कुछ वीडियो में देखा जा सकता है कि शरीफ और उनका शिष्टमंडल पिछले बृहस्पतिवार को जैसे ही मदीना में पैगंबर की मस्जिद के परिसर में पहुंचा, वैसे ही कुछ जायरीन उनके खिलाफ ‘चोर’ और ‘गद्दार’ की नारेबाजी करने लगे। इन जायरीनों को इमरान का समर्थक माना जा रहा है।
पाकिस्तानी जायरीनों ने शिष्टमंडल के सदस्यों के खिलाफ अपशब्दों का भी इस्तेमाल किया। मदीना पुलिस ने दावा किया है कि इस संबंध में पांच पाकिस्तानियों को गिरफ्तार किया गया है। वहीं, पाकिस्तानी अधिकारियों के मुताबिक, पंजाब पुलिस ने शनिवार रात इमरान और 150 अन्य लोगों के खिलाफ एक प्राथमिकी दर्ज की।
उन्होंने बताया कि प्राथमिकी में पूर्व मंत्री फवाद चौधरी और शेख रशीद, इमरान के पूर्व सलाहकार शाहबाज गुल, नेशनल असेंबली के पूर्व उपाध्यक्ष कासिम सूरी व लंदन में इमरान के करीबी सहयोगी अनिल मुसर्रत तथा साहिबजादा जहांगीर भी नामजद हैं। अधिकारियों के अनुसार, लाहौर से लगभग 180 किलोमीटर दूर फैसलाबाद के एक पुलिस थाने में स्थानीय निवासी नईम भट्टी की शिकायत पर यह प्राथमिकी दर्ज की गई। उन्होंने बताया कि यह प्राथमिकी मदीना में पैगंबर की मस्जिद को नापाक करने, वहां हंगामा करने और मुस्लिमों की भावनाओं को आहत करने के आरोप में दर्ज की गई है।
पाकिस्तानी दंड संहिता की धारा 295ए (किसी भी वर्ग की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के इरादे से जानबूझकर किया गया दुर्भावनापूर्ण कृत्य) समेत अन्य संबंधित धाराओं के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई है। इस बीच, इमरान ने शनिवार को एक टीवी चैनल को दिए साक्षात्कार में उन जायरीनों से किनारा कर लिया, जिन्होंने शरीफ के खिलाफ नारेबाजी की थी।
उन्होंने कहा कि वह “किसी से पाक स्थान पर नारेबाजी करने के लिए कहने के बारे में सोच भी नहीं सकता।” इस घटना की व्यापक स्तर पर निंदा की जा रही है।
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