अमेरिकी सीनेटरों ने चीन पर प्रतिबंध लगाने के लिए संसद में पेश किया विधेयक

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अमेरिकी सीनेटरों ने चीन पर प्रतिबंध लगाने के लिए संसद में विधेयक पेश किया है।‘कोविड-19 जवाबदेही अधिनियम’ विधेयक को सीनेटर लिंडसे ग्राहम ने तैयार किया है और आठ अन्य सांसदों ने इसमें उनका साथ दिया है। इस विधेयक को मंगलवार को सीनेट में पेश किया गया।

वाशिंगटन। नौ प्रभावशाली अमेरिकी सीनेटरों के एक समूह ने संसद में एक विधेयक पेश किया है, जिसमें कहा गया है कि यदि चीन कोरोना वायरस संक्रमण फैलने के पीछे की वजहों की पूरी जानकारी मुहैया नहीं कराता है और इसे काबू करने में सहयोग नहीं देता है, तो अमेरिका के राष्ट्रपति को चीन पर प्रतिबंध लगाने की अनुमति दी जानी चाहिए। ‘कोविड-19 जवाबदेही अधिनियम’ विधेयक को सीनेटर लिंडसे ग्राहम ने तैयार किया है और आठ अन्य सांसदों ने इसमें उनका साथ दिया है। इस विधेयक को मंगलवार को सीनेट में पेश किया गया।

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इस विधेयक में कहा गया है कि राष्ट्रपति 60 दिन के भीतर कांग्रेस में यह प्रमाणित करेंगे कि चीन ने अमेरिका, उसके सहयोगियों या विश्व स्वास्थ्य संगठन जैसी संयुक्त राष्ट्र से संबद्ध संस्थाओं के नेतृत्व वाली कोविड-19 संबंधी जांच के लिए पूर्ण जानकारी मुहैया कराई है और उसने मांसाहारी वस्तुओं की बिक्री करने वाले उन सभी बाजारों को बंद कर दिया था, जिनसे जानवरों से मनुष्यों में कोई संक्रमण फैलने का खतरा पैदा होता है। इसमें कहा गया है, यदि राष्ट्रपति इसे प्रमाणित नहीं करते हैं तो उन्हें चीन की सम्पत्तियां सील करने, यात्रा संबंधी प्रतिबंध लगाने, वीजा रद्द करने, अमेरिकी वित्तीय संस्थाओं को चीनी कारोबार को ऋण देने से रोकने और चीनी कंपनियों को अमेरिकी शेयर बाजार में सूचीबद्ध किए जाने पर रोक लगाने जैसे प्रतिबंध लागू करने का अधिकार होगा।

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ग्राहम ने कहा, ‘‘मुझे यकीन है कि ‘चाइनीज कम्युनिस्ट पार्टी’ यदि चीजें नहीं छिपाती, तो वायरस अमेरिका में नहीं पहुंचता।’’ उन्होंने कहा, ‘‘चीन ने अंतरराष्ट्रीय समुदाय को जांच के लिए वुहान प्रयोगशाला में जाने की अनुमति देने से इनकार कर दिया। मुझे लगता है कि यदि चीन पर दबाव नहीं बनाया गया, तो वह जांच में कभी सहयोग नहीं करेगा’’। इसके अलावा सीनेटरों जिम इनहोफे, रोजर विकर, स्टीव डाइन्स, थॉम टिलिस, टॉड यंग, सिंडी हाइडे स्मिथ, माइक ब्रौन और रिक स्काट ने भी इस महामारी के लिए चीन को जवाबदेह ठहराए जाने पर जोर दिया। चीन ने कोरोना वायरस संक्रमण संबंधी तथ्य छुपाने की बात से इनकार किया है और अमेरिका पर आरोप लगाया है कि वह वुहान प्रयोगशाला से वायरस पैदा होने की बात कहकर लोगों का ध्यान भटकाने की कोशिश कर रहा है। चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजियांग ने पिछले महीने कहा था, ‘‘चीन ने विश्व स्वास्थ्य संगठन को कोविड-19 की सबसे पहले जानकारी दी। इसका यह अर्थ नहीं है कि कोरोना वायरस वुहान से पैदा हुआ ... कभी कोई बात छुपाई नहीं गई है और हम कोई बात छुपाने की कभी अनुमति नहीं देंगे।’’ उल्लेखनीय है कि चीन के वुहान से फैले कोरोना वायरस संक्रमण से दुनिया भर में 2,50,000 लोगों की मौत हो चुकी है और 40 लाख से अधिक लोग इससे संक्रमित हैं। इस वायरस से सबसे अधिक प्रभावित अमेरिका हुआ है, जहां इसके कारण 80,000 लोगों की मौत हो चुकी है और 14 लाख लोग इससे संक्रमित हैं।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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