शरीफ सरकार को विदेश यात्राओं पर कोर्ट का नोटिस
पाकिस्तानी प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की 70 से अधिक विदेश यात्राओं को चुनौती देने वाली एक याचिका पर लाहौर की एक अदालत ने सरकार को एक नोटिस जारी किया है।
लाहौर। पाकिस्तानी प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की 70 से अधिक विदेश यात्राओं को चुनौती देने वाली एक याचिका पर यहां की एक अदालत ने सरकार को एक नोटिस जारी किया है। शरीफ की यात्राओं से सरकारी खजाने पर 60 करोड़ रूपये से अधिक का बोझ पड़ा। लाहौर उच्च न्यायालय ने अधिवक्ता जावेद इकबाल जाफरी की याचिका पर नोटिस जारी किया। उन्होंने दलील दी कि शरीफ ने अपनी विदेश यात्राओं और अपनी तथा अपने परिवार को मीडिया में प्रायोजित करने में बहुत अधिक सरकारी धन खर्च किया है।
जाफरी ने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री लंदन में इलाज कराने के लिए ऐसे समय में सरकारी धन खर्च कर रहे हैं जब यहां अस्पतालों में दवा नहीं है और देश विदेशी कर्ज में डूबा हुआ है। उन्होंने कहा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण है देश में अत्याधुनिक अस्पताल खोलने में नाकाम रहे हैं जहां वह खुद अपना इलाज कराने जा सकते। उन्होंने कहा कि करदाताओं के धन का प्रधानमंत्री और उनके परिवार ने खर्चीली विदेश यात्राओं के लिए इस्तेमाल किया। शरीफ मेडिकल जांच के लिए अपने परिवार के सदस्यों के साथ फिलहाल लंदन में हैं।
हालांकि, अटकलें लगाई जा रही है कि वह वहां पूर्व राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी से ‘पानामा पेपर’ दस्तावेज लीक पर सलाह लेने गए हैं। इसमें शरीफ की दो संतानों का नाम आया है जिनकी विदेशों में कंपनियां होने की बात का खुलासा किया गया है। याचिकाकर्ता जाफरी ने अदालत से यह भी कहा कि प्रधानमंत्री और उनकी राजनीतिक पार्टी पीएमएल-एन को बढ़ावा देने के लिए मीडिया विज्ञापनों में करोड़ों रूपये खर्च किए जा रहे हैं। न्यायमूर्ति सैयद मंसूर अली शाह ने सरकार से एक जवाब मांगा है। सदन में उपलब्ध कराए गए आकंड़ों के मुताबिक शरीफ ने 17 बार ब्रिटेन की यात्रा की जहां उन्होंने दो महीने बिताए। इसके बाद उन्होंने अमेरिका की 18 दिनों की कुल यात्रा की। वह पांच बार सऊदी अरब गए। तुर्की शरीफ का एक और पसंदीदा देश है जहां हर साल वह कम से कम एक बार गए।
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