पैसों से भरे बैग और कारें लेकर भागे अशरफ गनी, हेलीकॉप्टर में नहीं थी जगह तो कुछ बैग रनवे में फेंकने पड़े
अनुराग गुप्ता । Aug 17 2021 11:24AM
काबुल स्थित रूसी दूतावास का हवाला देते हुए रूस की सरकारी मीडिया एजेंसी 'तास' ने दावा किया कि 72 वर्षीय राष्ट्रपति गनी नकदी से भरा हेलीकॉप्टर लेकर काबुल से भागे।
काबुल। अफगानिस्तान में तालिबान के कब्जे के बाद राष्ट्रपति अशरफ गनी ने ताजिकिस्तान के लिए उड़ान भरी थी लेकिन उन्हें वहां पर उतरने नहीं दिया गया था। जिसके बाद उनके विमान ने ओमान की तरफ अपना रुख कर लिया था। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार के साथ राष्ट्रपति अशरफ गनी भी ओमान में हैं और जल्द ही अमेरिका जा सकते हैं।
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रूस की सरकारी मीडिया एजेंसी ने दावा किया कि अफगानिस्तान से भागते हुए अशरफ गनी अपने साथ खूब सारा पैसा लेकर निकले थे। लेकिन विमान में जगह कम होने की वजह से पैसों से भरे हुए कुछ बैग उन्होंने रनवे पर ही छोड़ दिए।
काबुल स्थित रूसी दूतावास का हवाला देते हुए रूस की सरकारी मीडिया एजेंसी 'तास' ने दावा किया कि 72 वर्षीय राष्ट्रपति गनी नकदी से भरा हेलीकॉप्टर लेकर काबुल से भागे।दूतावास के एक कर्मचारी ने कहा कि उनके (गनी के) शासन के समाप्त होने के कारणों को गनी के वहां से भागने के तरीके से जोड़कर देखा जा सकता है। चार कारें पैसों से भरी हुई थीं और उन्होंने सारा पैसा हेलीकॉप्टर में भरने की कोशिश की, लेकिन सारा पैसा हेलीकॉप्टर में नहीं भरा जा सका और उन्हें पैसों से भरे कुछ बैग रनवे में फेंकने पड़े।इसे भी पढ़ें: अफगानिस्तान मसले पर UNSC में भारत ने पाकिस्तान को नहीं दी बोलने की अनुमति, दोस्त चीन को लगी मिर्ची
क्यों भागे राष्ट्रपति गनी ?
अशरफ गनी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म फेसबुक पर एक पोस्ट लिखकर जानकारी दी। उन्होंने कहा कि उनके सामने दो मुश्किल विकल्प थे। पहला राष्ट्रपति भवन में घुसने की कोशिश कर रहे हथियारबंद तालिबान का सामना करना और दूसरा अपने प्रिय देश को छोड़ना, जिसकी रक्षा में मैने अपने जीवन के 20 साल लगा दिये।उन्होंने कहा कि अगर फिर से अनगिनत संख्या में देश के नागरिक शहीद होते और काबुल में विध्वंस ही विध्वंस होता तो करीब 60 लाख की आबादी वाले शहर के लिए उसका परिणाम बेहद घातक होता। तालिबान ने मुझे हटाने का फैसला कर लिया था, वे यहां काबुल और काबुल के लोगों पर हमला करने आए हैं। ऐसे में रक्तपात से बचने के लिए, मुझे वहां से निकलना ही मुनासिब लगा।We're now on WhatsApp. Click to join.
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